हैदराबाद, 17 जुलाई (भाषा) केंद्रीय गृह राज्य मंत्री बंडी संजय कुमार को विशेष जांच दल (एसआईटी) ने तेलंगाना की पूर्ववर्ती भारत राष्ट्र समिति (बीआरएस) सरकार के दौरान कथित अवैध फोन टैपिंग से संबंधित एक मामले में गवाह के रूप में अपना बयान दर्ज करने के लिए नोटिस दिया है। पुलिस ने बृहस्पतिवार को यह जानकारी दी।
उन्होंने बताया कि मामले की जांच कर रहे विशेष जांच दल ने नोटिस में कुमार से उनका बयान दर्ज करने के लिए समय मांगा है और वह 24 जुलाई को पुलिस के समक्ष पेश होने पर सहमत हो गए हैं।
केंद्रीय मंत्री ने जांचकर्ताओं को शहर के ‘लेक व्यू गवर्नमेंट गेस्ट हाउस’ में उनसे मिलने का सुझाव दिया।
न्यायाधीशों के फोन टैप किए जाने के आरोपों का जिक्र करते हुए कुमार ने पिछले महीने कहा था कि मामले की जांच केन्द्रीय अन्वेषण ब्यूरो (सीबीआई) को सौंपना राज्य सरकार की जिम्मेदारी है।
उन्होंने कहा कि तेलंगाना के मुख्यमंत्री ए रेवंत रेड्डी ने विपक्ष में रहते हुए इस मामले की केंद्रीय एजेंसी से जांच कराने की मांग की थी।
अधिकारी इस मामले में मुख्य आरोपी तेलंगाना के पूर्व विशेष खुफिया ब्यूरो (एसआईबी) प्रमुख टी प्रभाकर राव से पूछताछ कर रहे हैं।
राव पर तत्कालीन सत्तारूढ़ राजनीतिक दल और उसके नेताओं को लाभ पहुंचाने के लिए राजनीतिक निगरानी से संबंधित कुछ विशिष्ट कार्यों को अंजाम देने के लिए एसआईबी के भीतर एक निलंबित डीएसपी के नेतृत्व में एक ‘विशेष अभियान दल’ गठित करने का आरोप है।
एसआईबी के निलंबित डीएसपी उन चार पुलिस अधिकारियों में शामिल थे जिन्हें हैदराबाद पुलिस ने मार्च 2024 में विभिन्न इलेक्ट्रॉनिक उपकरणों से खुफिया जानकारी मिटाने और बीआरएस शासन के दौरान फोन टैपिंग के आरोप में गिरफ्तार किया था। बाद में उन्हें जमानत मिल गई थी।
भाषा
शुभम माधव
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