मुंबई, 13 अगस्त (भाषा) महाराष्ट्र में सत्तारूढ़ भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) पर परोक्ष हमला करते हुए शिवसेना (उबाठा) प्रमुख उद्धव ठाकरे ने बुधवार को कहा कि मुंबई और राज्य के महत्व को कम करने के प्रयास किए जा रहे हैं।
उन्होंने उच्चतम न्यायालय से महाराष्ट्र विधानसभा अध्यक्ष द्वारा सत्तारूढ़ शिवसेना को ‘‘धनुष और तीर’’ चुनाव चिह्न आवंटित करने के फैसले के खिलाफ उनकी पार्टी की याचिका पर सुनवाई करने का आग्रह किया और कहा कि अगर न्याय नहीं मिला तो लोकतंत्र मर जायेगा।
शिवसेना संस्थापक बाल ठाकरे और उनके भाई श्रीकांत ठाकरे द्वारा शुरू की गई पत्रिका ‘मार्मिक’ के 65वें स्थापना दिवस के मौके पर उद्धव ने कहा कि मराठी मानुष ने सुनिश्चित किया कि उन्हें मुंबई मिले।
उन्होंने कहा, ‘‘मराठी मानुष के साथ बाहरी जैसा व्यवहार किया जाता था (1966 में अविभाजित शिवसेना के गठन से पहले)। ऐसी परिस्थितियां फिर से बनाने की कोशिश की जा रही है, ताकि देखा जा सके कि क्या मुंबई और महाराष्ट्र से कुछ छीना जा सकता है – चाहे वह हिंदी थोपना हो या मुंबई और महाराष्ट्र का महत्व कम करना हो। ये प्रयास बंद नहीं हुए हैं।’’
ठाकरे ने कहा, ‘‘शिवसेना (उबाठा) और ‘मार्मिक’ का काम तब तक खत्म नहीं होगा जब तक हम ऐसे प्रयासों में शामिल लोगों को खत्म नहीं कर देते।’’
पूर्व मुख्यमंत्री ने कहा कि चाहे वह कबूतरों को दाना डालना हो या आवारा कुत्तों पर उच्चतम न्यायालय का आदेश हो, लोगों का ध्यान महत्वपूर्ण मुद्दों से हटाने के लिए विवाद पैदा किए जा रहे हैं।
उन्होंने आदेश के खिलाफ जनता के आक्रोश के बाद इस मुद्दे पर गौर करने के लिए भारत के प्रधान न्यायाधीश भूषण आर गवई की भी सराहना की।
बुधवार को उच्चतम न्यायालय में आवारा कुत्तों से संबंधित एक याचिका पर तत्काल सुनवाई के लिए लाए जाने पर प्रधान न्यायाधीश गवई ने कहा कि वह इस पर गौर करेंगे।
विधानसभा अध्यक्ष के फैसले के खिलाफ उच्चतम न्यायालय में अपनी पार्टी की याचिका पर उन्होंने कहा, ‘‘तीन-चार साल हो गए हैं और कोई नहीं जान पाएगा कि यह (लोकतंत्र) कब मर जाएगा। अगर न्याय नहीं हुआ तो लोकतंत्र मर जाएगा। तो चाहे जो भी पीठ हो, कृपया उस पर गौर करें। मेरी हाथ जोड़कर यही विनती है।’’
भाषा
देवेंद्र माधव
माधव