अजमेर। राष्ट्रीय लोकतांत्रिक पार्टी (आरएलपी) के नेता और नागौर सांसद हनुमान बेनीवाल ने मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा और बीजेपी सरकार पर कड़ी आलोचना की है। अजमेर में पत्रकारों से बातचीत में बेनीवाल ने कहा कि मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा को ब्यूरोक्रेट्स चला रहे हैं और वह केवल उन्हें लिखकर दिया गया संवाद बोलते हैं। उन्होंने तंज कसते हुए कहा कि यह पहली बार है जब राजस्थान की जनता को ऐसी सरकार मिली है, जिसमें किसकी चल रही है, यह किसी को नहीं पता
बड़े विद्रोह की जताई संभावना
हनुमान बेनीवाल ने मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा के उस बयान पर तंज कसा, जिसमें उन्होंने कहा था कि ‘कांग्रेस के नेता रात के अंधेरे में मुझसे मिलते हैं’। बेनीवाल ने आरोप लगाया कि इससे साफ जाहिर होता है कि कांग्रेस और बीजेपी आपस में मिली हुई हैं। उन्होंने कहा कि पहले भी दोनों पार्टियां मिली हुई थीं और अब गहलोत और उनकी टीम भजनलाल शर्मा से मिली हुई है।
बेनीवाल ने बड़ा बयान देते हुए कहा कि बीजेपी में बड़ा विद्रोह हो सकता है, जैसा कि पिछली कांग्रेस सरकार में हुआ था। उन्होंने चेतावनी दी कि राजनीति में कभी भी कुछ भी हो सकता है और भजनलाल शर्मा कब सीएम पद से हटाए जाएं और कोई ‘रामलाल या श्यामलाल’ आकर बैठ जाए, किसी को पता नहीं। उन्होंने यह भी कहा कि बीजेपी में दिल्ली का फरमान चलता है।
हनुमान बेनीवाल के अनुसार, प्रदेश में भाजपा के केवल 60 से 65 विधायक ही भजनलाल शर्मा के पक्ष में हैं, जबकि कांग्रेस पूरी तरह तैयार बैठी है। ऐसे में किसी भी समय राजनीतिक उलटफेर की संभावना से इनकार नहीं किया जा सकता।
कांग्रेस को उनके चरित्र से नहीं, ‘मेवाराम’ से मतलब
हनुमान बेनीवाल ने कांग्रेस द्वारा वरिष्ठ नेता मेवाराम जैन को पार्टी में पुनः शामिल करने पर तीखा तंज कसा है। बेनीवाल ने कहा कि पहले अश्लील सीडी विवाद के बाद मेवाराम जैन को पार्टी से निकाल दिया गया था, लेकिन अब उन्हें फिर से पार्टी में ले लिया गया है। उन्होंने आरोप लगाया कि कांग्रेस को उनके चरित्र से नहीं, बल्कि केवल ‘मेवाराम’ से मतलब है।
बेनीवाल ने कहा कि कांग्रेस में चार से पांच मुख्यमंत्री चेहरे हैं, जबकि बीजेपी में पंद्रह से ज्यादा सीएम चेहरे दिखते हैं। उन्होंने मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा को ‘बिना बारात का दूल्हा’ बताते हुए दोहराया कि राजस्थान में कांग्रेस और बीजेपी का एक गठबंधन चल रहा है।
दिल्ली में रैली का ऐलान
बेनीवाल ने कहा कि पार्टी ने पहले एएसआई भर्ती रद्द करने के खिलाफ आंदोलन किया था, जबकि कांग्रेस ने किसी बड़े मुद्दे पर कोई प्रदर्शन नहीं किया। उन्होंने घोषणा की कि आने वाले दिनों में आरएलपी अग्निवीर योजना, किसानों के मुद्दे, बढ़ते अपराध और सशक्त लोकायुक्त की मांगों को लेकर बड़ा आंदोलन करेगी।
बेनीवाल ने बताया कि अग्निवीर के मसले पर एक लाख जवानों के साथ दिल्ली में बड़ी रैली आयोजित की जाएगी और संसद का घेराव किया जाएगा। उनका यह कदम राज्य और केंद्र सरकार को कृषि और सुरक्षा से जुड़े अहम मसलों पर दबाव बनाने के लिए माना जा रहा है।
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