जयपुर। दिवाली से पहले राजस्थान के लिए एक बड़ी उपलब्धि की खबर सामने आई है। महात्मा गांधी राष्ट्रीय ग्रामीण रोजगार गारंटी अधिनियम (मनरेगा) 2024-25 के तहत राजस्थान ने पूरे देश में सबसे अधिक रोजगार सृजित कर नया कीर्तिमान स्थापित किया है। भारतीय सांख्यिकी विभाग (India Statistics) द्वारा जारी ताजा आंकड़ों के मुताबिक, राजस्थान ने अब तक 36.4 करोड़ व्यक्ति-दिवस रोजगार सृजित किए हैं।
यह आंकड़ा न केवल राज्य की प्रशासनिक दक्षता को दर्शाता है, बल्कि यह भी साबित करता है कि मनरेगा योजना राज्य के ग्रामीण क्षेत्रों में आजीविका का एक मजबूत साधन बनी हुई है।
पिछले वर्षों में भी रहा है शानदार प्रदर्शन
मनरेगा की एमआईएस रिपोर्ट के अनुसार, राजस्थान का प्रदर्शन लगातार बेहतर रहा है।
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2022-23: 35.61 करोड़ व्यक्ति-दिवस
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2021-22: 42.42 करोड़
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2020-21: 46.05 करोड़
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2019-20: 32.86 करोड़
देश में उत्तर प्रदेश दूसरे और बंगाल तीसरे स्थान पर
राजस्थान के बाद उत्तर प्रदेश ने 34.7 करोड़ व्यक्ति-दिवस रोजगार सृजित किए हैं, जिससे वह दूसरे स्थान पर है। इसके बाद पश्चिम बंगाल तीसरे स्थान पर है, जहां 32.2 करोड़ व्यक्ति-दिवस रोजगार का सृजन हुआ। अन्य प्रमुख राज्य जिन्होंने मनरेगा के तहत अच्छा प्रदर्शन किया है।
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मध्य प्रदेश: 31.8 करोड़
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बिहार: 28.5 करोड़
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ओडिशा: 24.3 करोड़
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छत्तीसगढ़: 21.6 करोड़
राजस्थान में मनरेगा की मजदूरी ₹266 प्रतिदिन
राजस्थान में 1 अप्रैल 2024 से मनरेगा मजदूरी ₹266 प्रतिदिन निर्धारित की गई है। 2023-24 में सबसे अधिक वृद्धि भी राजस्थान में हुई, जहां मजदूरी ₹255 थी। वहीं 2022-23 में मजदूरी ₹231 प्रति दिन थी। यह बढ़ोतरी मनरेगा श्रमिकों की आजीविका में सुधार का संकेत है, जिससे उन्हें ग्रामीण क्षेत्रों में काम करने का एक स्थिर और सम्मानजनक विकल्प मिल रहा है।
क्या है मनरेगा योजना?
मनरेगा (MGNREGA) या महात्मा गांधी राष्ट्रीय ग्रामीण रोजगार गारंटी अधिनियम, 2005 में शुरू की गई एक केंद्र सरकार की योजना है। इसका उद्देश्य ग्रामीण क्षेत्रों में निवास करने वाले परिवारों को हर वित्तीय वर्ष में न्यूनतम 100 दिनों का रोजगार उपलब्ध कराना है। यह योजना तालाब खुदाई, जल संरक्षण, नाली निर्माण, वृक्षारोपण, सड़क निर्माण आदि कार्यों के माध्यम से रोजगार देती है।
राजस्थान को ₹5,018.46 करोड़ आवंटन
केंद्र सरकार ने वित्तीय वर्ष 2024-25 के लिए मनरेगा योजना के तहत ₹86,000 करोड़ का अब तक का सबसे बड़ा बजट आवंटित किया है। राजस्थान सरकार ने ग्रामीण विकास विभाग के लिए ₹20,233.86 करोड़ का बजट निर्धारित किया है, जिसमें से ₹5,018.46 करोड़ विशेष रूप से मनरेगा के लिए आवंटित किए गए हैं।
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