Anta Byelection 2025: राजस्थान की अंता विधानसभा सीट पर होने वाले उपचुनाव को लेकर भारतीय जनता पार्टी ने अपनी तैयारियाँ तेज कर दी हैं। पार्टी प्रत्याशी मोरपाल सुमन शनिवार को नामांकन दाखिल किया। उनके नामांकन के दौरान झालावाड़ सांसद दुष्यंत सिंह सहित कई नेता मौजूद रहे।
कौन हैं मोरपाल सुमन?
मोरपाल सुमन वर्तमान में बारां पंचायत समिति के प्रधान हैं और पहली बार विधायक का चुनाव लड़ रहे हैं। उन्हें बीजेपी ने उनकी संगठन में सक्रियता और जातिगत समीकरण को देखते हुए टिकट दिया है। अंता सीट पर माली-सैनी समाज का वर्चस्व है, और सुमन इसी समाज से आते हैं।
मोरपाल सुमन का राजनीतिक सफर
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1995: बारां पंचायत समिति के सदस्य निर्वाचित
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2000: सरपंच बने
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2010: पत्नी नटी बाई बनीं पंचायत समिति सदस्य, वर्तमान में तिसाया गांव की सरपंच
 
पहले भी हो चुका है नामांकन रद्द
2015 में जिला परिषद सदस्य पद के लिए मोरपाल सुमन का नामांकन रद्द हो गया था, जिसके चलते वे चुनाव नहीं लड़ सके थे। तब वे जिला प्रमुख के प्रबल दावेदार माने जा रहे थे।
क्यों बदला बीजेपी ने चेहरा?
2023 के चुनाव में भाजपा ने कंवरलाल मीणा को टिकट दिया था, जो जीत भी गए। लेकिन एक पुराने एसडीएम को थप्पड़ मारने के मामले में उन्हें तीन साल की सजा हो गई, जिससे उनकी विधायकी रद्द हो गई। इसके बाद कार्यकर्ताओं ने स्थानीय उम्मीदवार की मांग की थी। इस बार बीजेपी ने स्थानीय और समाजिक समीकरणों को ध्यान में रखते हुए माली समाज के मोरपाल सुमन को टिकट दिया है।
भाजपा ने बदली रणनीति
इससे पहले भाजपा ने अंता से दो बार प्रभुलाल सैनी को चुनाव मैदान में उतारा था। 2013 में वे जीतकर मंत्री बने, लेकिन 2018 में हार का सामना करना पड़ा। लगातार बाहरी उम्मीदवारों से असंतुष्ट कार्यकर्ताओं ने इस बार स्थानीय नेता की मांग की थी, जिसे पार्टी ने माना।
मुकाबला त्रिकोणीय
इस बार मोरपाल सुमन का मुकाबला कांग्रेस के प्रमोद जैन भाया और निर्दलीय नरेश मीणा से होगा। ऐसे में अंता का उपचुनाव एक रोचक त्रिकोणीय मुकाबला बनने जा रहा है।
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