(अदिति खन्ना)
लंदन, 19 जून (भाषा) ब्रिटेन में काम कर रहीं भारतीय स्वामित्व वाली कंपनियों की संख्या 2025 में सालाना आधार पर 23 प्रतिशत बढ़कर 1,197 हो गई है। किसी एक वर्ष में दर्ज यह सबसे तेज वृद्धि है।
वैश्विक वित्तीय सलाहकार कंपनी ग्रांट थॉर्नटन द्वारा उद्योग निकाय सीआईआई (भारतीय उद्योग परिसंघ) के सहयोग से किए गए विश्लेषण, ‘इंडिया मीट्स ब्रिटेन ट्रैकर’ के अनुसार ब्रिटेन में भारतीय स्वामित्व वाली कंपनियों द्वारा दर्ज किया गया संयुक्त राजस्व 2024 के 68.09 अरब पाउंड (जीबीपी) से बढ़कर 2025 में 72.14 अरब जीबीपी हो गया।
विश्लेषण के 12वें संस्करण में पाया गया कि अब ब्रिटेन में 1,197 भारतीय स्वामित्व वाली कंपनियां कार्यरत हैं, जो 2024 के आंकड़ों की तुलना में 23 प्रतिशत अधिक है।
‘इंडिया मीट्स ब्रिटेन ट्रैकर’ को लंदन में ‘इंडिया ग्लोबल फोरम (आईजीएफ) यूके-इंडिया वीक’ के दौरान वाणिज्य एवं उद्योग मंत्री पीयूष गोयल और ब्रिटेन के उनके समककक्ष जोनाथन रेनॉल्ड्स ने बुधवार को पेश किया।
वाणिज्य एवं उद्योग मंत्री पीयूष गोयल ब्रिटेन और भारत के बीच मुक्त व्यापार समझौते (एफटीए) के क्रियान्वयन से संबंधित मुद्दों पर चर्चा करने तथा दोनों देशों के बीच व्यापार एवं निवेश को बढ़ावा देने के तरीकों का पता लगाने के लिए दो दिवसीय आधिकारिक यात्रा पर लंदन में हैं।
ग्रांट थॉर्नटन में दक्षिण एशिया व्यापार समूह के प्रमुख एवं साझेदार अनुज चंदे ने कहा, ‘‘ जैसा कि हाल ही में हुए ब्रिटेन-भारत मुक्त व्यापार समझौते से स्पष्ट है…. ब्रिटेन और भारत के बीच स्पष्ट आर्थिक समानता है तथा एक-दूसरे के साथ अधिकाधिक व्यापार एवं निवेश करने की पारस्परिक इच्छा है।’’
इस वर्ष के विश्लेषण से पता चला है कि ब्रिटेन में भारतीय स्वामित्व वाली कंपनियों का सामूहिक राजस्व 2024 के 68.09 अरब जीबीपी (ब्रिटेन मुद्रा) से बढ़कर 72.14 अरब जीबीपी हो गया। ये कारोबार पूरे ब्रिटेन में 1,26,720 लोगों को रोजगार देते हैं। पिछले वर्ष इन्होंने 8,000 से अधिक नई नौकरियों का सृजन किया।
आईजीएफ के चेयरमैन मनोज एल. ने कहा, ‘‘ इस वर्ष का ‘इंडिया मीट्स ब्रिटेन ट्रैकर’ इस बात को रेखांकित करता है कि भारतीय व्यवसाय एक प्रमुख व्यापारिक साझेदार और निवेश केंद्र के रूप में ब्रिटेन के साथ कितने जुड़े हुए हैं।’’
विप्रो आईटी सर्विसेज यूके 2025 के विश्लेषण में 448 प्रतिशत राजस्व वृद्धि के साथ वृद्धि रैंकिंग में शीर्ष पर है। इसके बाद नई प्रवेशी आईटी प्रबंधन कंपनी जोहो कॉरपोरेशन लिमिटेड है जिसने 197 प्रतिशत की वृद्धि दर्ज की।
कुल मिलाकर 20 कंपनियां 2025 में पहली बार इसमें (ट्रैकर में) शामिल हुईं, जबकि 41 कंपनियां पिछले साल से इसमें बनी हुई हैं।
सीआईआई ने कहा, ‘‘ भारत और ब्रिटेन के बीच मजबूत व्यापारिक संबंधों के विकास के ऐसे महत्वपूर्ण समय में, यह रिपोर्ट ब्रिटेन में भारतीय प्रत्यक्ष विदेशी निवेश के प्रभाव के वास्तविक मूल्य को रेखांकित करती हैं।’’
भाषा निहारिका अजय
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