मुंबई, 21 जून (भाषा) पिछले साल गिग नौकरियों (ऑनलाइन मंच के लिए अस्थायी नौकरी) या फ्रीलांस (काम के आधार पर) अवसरों में सालाना आधार पर 92 प्रतिशत की वृद्धि हुई है।
भर्ती मंच वर्कइंडिया की एक रिपोर्ट में कहा गया है कि यह ई-कॉमर्स, खानपान की आपूर्ति करने वाले (फूड डिलीवरी) और राइड-हेलिंग मंचों के तेजी से विस्तार से प्रेरित मजबूत, मांग आधारित श्रम पर बढ़ती निर्भरता को दर्शाता है।
वर्कइंडिया के मुख्य कार्यपालक अधिकारी (सीईओ) और सह-संस्थापक नीलेश डूंगरवाल ने पीटीआई-भाषा को बताया, “हम जो देख रहे हैं, वह महत्वाकांक्षा का मंचीकरण है। त्वरित वाणिज्य जैसी कंपनियों ने न केवल मांग पैदा की है, बल्कि उन्होंने इस क्षेत्र को आय के एक विश्वसनीय स्रोत के रूप में मान्यता दी है। कई उम्मीदवारों के लिए, विशेष रूप से छोटे शहरों में, डिलीवरी जॉब अब अस्थायी भूमिका नहीं रह गई है, बल्कि वे व्यवहार्य करियर विकल्प हैं।”
वर्कइंडिया की रिपोर्ट 2023 और 2024 में मंच पर 4.81 लाख नौकरियों की सूचना के आंकड़ों के विश्लेषण पर आधारित है।
भौगोलिक स्थानों में, रिपोर्ट में पाया गया कि दिल्ली, अहमदाबाद और कोलकाता जैसे शहर गंतव्य पर लॉजिस्टिक्स नौकरियों के लिए प्रमुख केंद्र के रूप में उभरे हैं, जिनमें से प्रत्येक ने डिलीवरी से संबंधित नौकरी पोस्टिंग में 100 प्रतिशत से अधिक की वृद्धि दर्ज की है।
इस बीच, नौकरी चाहने वालों के बीच गिग भूमिकाओं की मांग मजबूत रही और कुल आवेदनों में 63 प्रतिशत की वृद्धि देखी गई, जिसमें स्नातकों के बीच सबसे अधिक वृद्धि देखी गई, रिपोर्ट में कहा गया है।
भाषा अनुराग पाण्डेय
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