वाशिंगटन, 25 जून (एपी) अमेरिका की एक नयी खुफिया रिपोर्ट में कहा गया है कि अमेरिकी हमले के बाद ईरान का परमाणु कार्यक्रम कुछ महीने पीछे चला गया है लेकिन पूरी तरह से तबाह नहीं हुआ है, जैसा कि राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने दावा किया है।
शुरुआती आकलन से अवगत दो व्यक्तियों ने नाम सार्वजनिक नहीं करने की शर्त पर यह जानकारी दी।
रक्षा खुफिया एजेंसी की ओर से सोमवार को जारी यह रिपोर्ट ईरान के परमाणु प्रतिष्ठानों की स्थिति को लेकर ट्रंप और इजराइली प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू के बयानों के विपरीत है।
जानकारी देने वाले व्यक्तियों ने बताया कि रिपोर्ट में पता चला है कि ईरान के फोर्दो, नतांज और इस्फहान परमाणु स्थलों पर शनिवार को हुए हमलों से अच्छा खासा नुकसान हुआ है, लेकिन वे पूरी तरह नष्ट नहीं हुए हैं।
रिपोर्ट में कहा गया है कि अमेरिका के हमलों से पहले ही ईरान के अत्यंत संवर्धित यूरेनियम के एक हिस्से को दूसरी जगहों पर स्थानांतरित कर दिया गया था।
मामले की जानकारी देने वाले एक व्यक्ति ने बताया कि फोर्दो में बहुत अंदर स्थित यूरेनियम संवर्धन संयंत्र का प्रवेश भाग ढह गया है और अवसंरचना को भी नुकसान हुआ है, लेकिन भूमिगत ढांचा क्षतिग्रस्त नहीं हुआ है।
मंगलवार को सीएनएन ने इस आकलन के बारे में सबसे पहले खबर दी।
अमेरिकी राष्ट्रपति के कार्यालय व्हाइट हाउस ने इस आकलन को गलत बताकर खारिज कर दिया है।
व्हाइट हाउस की प्रेस सचिव कैरोलीन लेविट ने एक बयान में कहा, “इस कथित आकलन को उजागर करना राष्ट्रपति ट्रंप को नीचा दिखाने और ईरान के परमाणु कार्यक्रम को नष्ट करने के लिए एक बेहतरीन मिशन को अंजाम देने वाले बहादुर लड़ाकू पायलटों को बदनाम करने का एक स्पष्ट प्रयास है।”
उन्होंने कहा, “हर कोई जानता है कि जब आप 30,000 पाउंड के 14 बम लक्ष्य पर सटीक रूप से गिराते हैं तो क्या होता है: संपूर्ण विनाश।”
ट्रंप कई बार कह चुके हैं कि हमलों के कारण ईरान में परमाणु स्थल “पूरी तरह से नष्ट” हो गए हैं और ईरान कभी भी अपने परमाणु प्रतिष्ठानों का पुनर्निर्माण नहीं कर पाएगा।
नेतन्याहू ने मंगलवार को टेलीविजन पर दिए गए बयान में कहा, “मैं वर्षों से आपसे वादा करता आया हूं कि ईरान को परमाणु हथियार नहीं बनाने देंगे और वास्तव में… हमने ईरान के परमाणु कार्यक्रम को बर्बाद कर दिया।”
एपी जोहेब मनीषा
मनीषा