ईटानगर, 26 जून (भाषा) अरुणाचल प्रदेश के उपमुख्यमंत्री चोवना मेन ने हिमालयी समुदायों के लिए अधिक लचीले और समावेशी भविष्य के निर्माण के लिए पारंपरिक ज्ञान प्रणालियों को आधुनिक स्वास्थ्य सेवाओं के साथ जोड़ने की आवश्यकता पर बल दिया।
बुधवार रात यहां तीन दिवसीय हिम संवाद 2025 के समापन सत्र को संबोधित करते हुए मेन ने स्वदेशी औषधीय प्रथाओं के संरक्षण और उनके संस्थागत बनाए जाने का आह्वान किया।
उन्होंने जलवायु अनुकूल बुनियादी ढांचे में निवेश करने तथा जल एवं स्वास्थ्य प्रशासन में महिलाओं और युवाओं के नेतृत्व को बढ़ावा देने के महत्व पर भी प्रकाश डाला।
उपमुख्यमंत्री ने कहा कि हिमालयी राज्यों को भौगोलिक दूरस्थता, पारिस्थितिकीय संवेदनशीलता और सार्वजनिक सेवाओं तक असमान पहुंच जैसी अनूठी चुनौतियों का सामना करना पड़ता है। उन्होंने इन मुद्दों के प्रभावी समाधान में सामुदायिक सहभागिता की महत्वपूर्ण भूमिका को रेखांकित किया।
उन्होंने जल जीवन मिशन के तहत 100 प्रतिशत घरेलू नल कनेक्शन की अरुणाचल प्रदेश की ऐतिहासिक उपलब्धि का भी जिक्र किया।
भाषा
गोला मनीषा
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