नयी दिल्ली, दो जुलाई (भाषा) रेलवे अगले दिन सुबह पांच बजे से दोपहर दो बजे के बीच रवाना होने वाली ट्रेनों के लिए रात नौ बजे तक आरक्षण चार्ट तैयार करेगा, जबकि बाकी ट्रेनों के लिए यह आठ घंटे पहले तैयार किया जाएगा।
वर्ष 2015 से, पहला आरक्षण चार्ट ट्रेन के प्रस्थान के निर्धारित समय से कम से कम चार घंटे पहले तैयार किया जाता रहा है। रेल मंत्रालय द्वारा इस मामले में पहली बार नियम बनाए जाने के बाद ऐसा किया जा रहा था।
मंत्रालय के अनुसार, यात्रियों की सुविधा के लिए चार्ट से जुड़े नियम में नवीनतम बदलाव किया गया है।
रेलवे बोर्ड ने दो जुलाई को सभी जोन को जारी एक परिपत्र में निर्देश दिया कि ‘‘सुबह पांच बजे से दोपहर दो बजे के बीच प्रस्थान करने वाली ट्रेनों के लिए, पहला आरक्षण चार्ट, एक दिन पहले रात नौ बजे तक तैयार किया जाएगा।’’
दोपहर दो बजे से रात 11:59 बजे तथा रात 12 बजे से सुबह 5:00 बजे के बीच प्रस्थान करने वाली ट्रेनों के लिए, पहला आरक्षण चार्ट आठ घंटे पहले तैयार किया जाएगा।
परिपत्र में सभी जोन को आवश्यक निर्देश जारी करने को कहा गया, लेकिन इसके कार्यान्वयन की कोई निश्चित तारीख नहीं बताई गई है, न ही दूसरे आरक्षण चार्ट को तैयार करने में किसी बदलाव का उल्लेख किया गया है।
रेलवे के एक अधिकारी ने कहा, ‘‘ट्रेन के प्रस्थान से आठ घंटे पहले चार्ट तैयार होने के बाद, यदि सीट खाली रह जाती है, तो यात्री इन्हें ट्रेन के रवाना होने से ठीक पहले बुकिंग सुविधा के तहत आरक्षित करा सकते हैं। दूसरा चार्ट ट्रेन के प्रस्थान से 30 मिनट से पांच मिनट पहले तैयार किया जाता है और यह मुख्य रूप से ट्रेन के रवाना होने से ठीक पहले बुकिंग के तहत टिकट लेने वाले यात्रियों के लिए होता है।’’
चार्ट तैयार होने और ट्रेन के रवाना होने के बीच समय अंतराल बढ़ाने का कारण पूछे जाने पर अधिकारियों ने कहा कि हालांकि, यात्रियों की ओर से यह अंतराल बढ़ाने के बारे में कोई प्रतिक्रिया नहीं मिली है, लेकिन मंत्रालय का मानना है कि यात्रियों को अपनी यात्रा की योजना बनाने के लिए अधिक समय देना चाहिए।
रेलवे बोर्ड ने बीकानेर रेल डिवीजन में 24 घंटे पहले आरक्षण चार्ट तैयार करने के लिए एक प्रायोगिक परियोजना भी चलाई थी और उस अनुभव के आधार पर आठ घंटे का अंतराल तय किया गया।
अधिकारियों ने कहा, ‘‘यदि आपको आठ घंटे पहले पता चल जाए कि आपकी टिकट ‘कन्फर्म’ हुई है या नहीं, तो इससे अनिश्चितता दूर होगी और आपको अपनी यात्रा की योजना सही ढंग से बनाने में मदद मिलेगी।’’
उन्होंने कहा कि टिकट ‘कन्फर्म’ हो जाने पर, इसे रद्द किये जाने की स्थिति में यात्रियों को जुर्माने के रूप में टिकट की राशि का एक बड़ा हिस्सा गंवाना पड़ेगा।
टिकट रद्द करने संबंधी नियमों के अनुसार, यदि प्रस्थान से 48 से 12 घंटे पहले ‘कन्फर्म’ टिकट रद्द किया जाता है, तो यात्रियों को टिकट की राशि का 25 प्रतिशत वापस मिलेगा।
एक अधिकारी ने कहा, ‘‘टिकट रद्द होने के कारण खाली होने वाली सीट ट्रेन के प्रस्थान करने से ठीक पहले बुकिंग प्रणाली के माध्यम से भरी जाएंगी।’’
भाषा सुभाष रंजन
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