नयी दिल्ली, 10 जुलाई (भाषा) वाणिज्य एवं उद्योग मंत्री पीयूष गोयल ने ऊर्जा भंडारण उद्योग से बृहस्पतिवार को कहा कि वे कुछ देशों से आयात पर निर्भरता कम करें और आपूर्ति के वैकल्पिक स्रोतों का पता लगाने पर ध्यान दें।
उन्होंने उद्योग जगत को नवोन्मेषी उत्पादों के निर्माण के लिए अनुसंधान एवं विकास पर ध्यान केंद्रित करने का भी सुझाव दिया।
गोयल ने ऊर्जा भंडारण पर आयोजित समारोह में कहा, ‘‘ हमें विकृतियों को रोकने के लिए काम करना चाहिए। हमें विशिष्ट भौगोलिक क्षेत्रों पर अपनी निर्भरता कम करनी चाहिए और आपूर्ति के वैकल्पिक स्रोतों पर विचार करना चाहिए, जहां हम अपनी आपूर्ति श्रृंखला में मजबूती ला सकें।’’
उन्होंने कहा कि उद्योग को आयात पर अत्यधिक निर्भरता कम करने के लिए नई प्रौद्योगिकियों पर ध्यान देना चाहिए और आत्मनिर्भरता पर ध्यान केंद्रित करना चाहिए।
ये टिप्पणियां महत्वपूर्ण हैं क्योंकि मोटर वाहन जैसे क्षेत्र चीन द्वारा दुर्लभ खनिज (चुंबक) पर लगाए गए प्रतिबंधों के कारण चुनौतियों और कठिनाइयों का सामना कर रहे हैं। चीन द्वारा उर्वरक निर्यात पर लगाए गए प्रतिबंध भी भारतीय कंपनियों के लिए समस्याएं उत्पन्न कर रहे हैं।
मंत्री ने कहा कि सभी उद्योग हितधारकों को ईवी (इलेक्ट्रिक वाहन) को तेजी से अपनाने के लिए चार्जिंग एवं बैटरी स्वैपिंग के बुनियादी ढांचे को विकसित करने के लिए मिलकर काम करना चाहिए। उनके अनुसार, उन्हें महत्वपूर्ण खनिजों और अर्धचालकों जैसे क्षेत्रों में विनिर्माण का विस्तार करने के नए अवसरों की भी तलाश करनी चाहिए।
उन्होंने कहा कि सरकार इस क्षेत्र में घरेलू विनिर्माण को बढ़ावा देने के लिए कदम उठा रही है।
गोयल ने कहा, ‘‘ हमारी स्थापित सौर क्षमता में 4,000 प्रतिशत की उल्लेखनीय वृद्धि हुई है और हमारी समग्र नवीकरणीय ऊर्जा क्षमता 227 गीगावाट है।’’
उन्होंने कहा, ‘‘ आज सौर ‘फोटोवोल्टिक’ मॉड्यूल क्षमता लगभग 38 गुना बढ़ गई है और हमारी सौर ‘फोटोवोल्टिक’ सेल क्षमता 21 गुना बढ़ी है।’’
भाषा निहारिका मनीषा
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