जैसलमेर, 11 जुलाई (भाषा) राजस्थान के जैसलमेर में बृहस्पतिवार को ऐतिहासिक स्मारक छतरियों के पुनर्निर्माण को लेकर दो समुदायों के बीच भड़की हिंसा के बाद पोखरण के विधायक प्रताप पुरी ने घटनास्थल पर रात बिताई। अधिकारियों ने शुक्रवार को यह जानकारी दी।
अधिकारी ने बताया कि हिंसा में आठ पुलिसकर्मी, एक तहसीलदार और कम से कम दो लोग घायल हो गए थे।
पुलिस ने घटना के बाद 16 महिलाओं सहित 30 लोगों को गिरफ्तार किया। बाड़मेर के शिव विधानसभा क्षेत्र से निर्दलीय विधायक रवींद्र सिंह भाटी ने भी घटनास्थल का दौरा किया और घटना की निंदा की।
जैसलमेर के बासनपीर गांव में छतरियों के पुनर्निर्माण को लेकर तनाव फैल गया था और हिंसा भड़क उठी थी।
पुलिस के अनुसार, शुक्रवार को गांव में स्थिति सामान्य रही और संरचना का पुनर्निर्माण जारी रहा।
पोखरण से भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के विधायक प्रताप पुरी ने घटनास्थल पर रात बिताई और अन्य लोगों के साथ ‘जागरण’ किया।
शुक्रवार को शिव विधायक रविंद्र भाटी भी घटनास्थल पर पहुंचे।
उन्होंने घटना की निंदा करते हुए कहा कि जिला प्रशासन और पुलिस को यह सुनिश्चित करना चाहिए कि भविष्य में ऐसी कोई घटना न हो।
भाटी ने कहा, “कुछ असामाजिक तत्व जैसलमेर और बाड़मेर में सांप्रदायिक सौहार्द का माहौल बिगाड़ रहे हैं। इसे बर्दाश्त नहीं किया जाएगा।”
उन्होंने कहा, “आरोपियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जानी चाहिए ताकि भविष्य में ऐसी घटनाएं दोबारा न हों।”
कानून-व्यवस्था बनाए रखने के लिए गांव में पुलिसकर्मी तैनात हैं।
वर्ष 2019 में कुछ असामाजिक तत्वों ने जैसलमेर के रियासतकालीन योद्धा जुझार रामचंद्र सिंह सोढा और पालीवाल जी की स्मृति में निर्मित ऐतिहासिक छतरियों को ध्वस्त कर दिया था।
भाषा सं कुंज जितेंद्र
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