नयी दिल्ली, 18 जुलाई (भाषा) कांग्रेस ने एक रिपोर्ट का हवाला देते हुए शुक्रवार को कहा कि अर्थव्यवस्था को एक बड़े ‘बूस्टर डोज’ की जरूरत है, लेकिन यह तभी संभव होगा जब माल एवं सेवा कर (जीएसटी) में व्यापक सुधार हो, ‘टैक्स टेररिज्म’ (कर आतंक) का माहौल खत्म हो और चुनिंदा कॉरपोरेट समूहों को पक्षपातपूर्ण तरीक़े से बढ़ावा देने की नीति छोड़ी जाए।
पार्टी महासचिव जयराम रमेश ने यह भी कहा कि अर्थव्यवस्था के प्रमुख क्षेत्रों में वृद्धि दर कमजोर बनी हुई है।
रमेश ने सोशल मीडिया मंच ‘एक्स’ पर पोस्ट किया, ‘‘नुवामा इंस्टीट्यूशनल इक्विटीज द्वारा इसी महीने की 16 तारीख को जारी की गई एक शोध रिपोर्ट में अभी की भारतीय अर्थव्यवस्था को लेकर कई गंभीर चिंताएं व्यक्त की गई हैं।’’
उन्होंने कहा, ‘‘ रिपोर्ट के मुख्य बिंदु इस प्रकार हैं: कई महत्वपूर्ण ‘हाई-फ्रीक्वेंसी इंडिकेटर’ या तो धीमे हो गए हैं या दबाव में हैं। इनमें ऋण, निर्यात और जीएसटी संग्रह जैसे सूचकांक शामिल हैं। निजी उपभोग में भी कोई खास गति नहीं दिख रही है, जैसे रियल एस्टेट बिक्री और दोपहिया-चारपहिया वाहनों की बिक्री।’’
कांग्रेस नेता के अनुसार, वर्ष 2025-26 में औद्योगिक गतिविधियों की शुरुआत कमजोर रही है, बिजली और डीजल की खपत तथा मध्यम और भारी वाणिज्यिक वाहन की बिक्री भी यही रुझान दिखा रही है।
उन्होंने कहा, ‘‘देश के आठ प्रमुख क्षेत्रों की वृद्धि दर भी कमजोर है। कृषि उत्पादों की कीमतें, जो कि ग्रामीण भारत की समृद्धि का प्रमुख संकेतक होती हैं, अभी भी कमजोर बनी हुई हैं। कॉरपोरेट क्षेत्र नकदी प्रवाह पर केंद्रित है और अब अपने फ्री कैश फ्लो को और बढ़ाने के लिए वेतन और पूंजीगत व्यय में कटौती कर रहा है।’’
रमेश ने इस बात पर जोर दिया कि यह पूरी तरह स्पष्ट है कि अर्थव्यवस्था को एक बड़े ‘बूस्टर डोज’ की जरूरत है और यह तभी संभव होगा जब जीएसटी में व्यापक सुधार किया जाए, ‘टैक्स टेररिज्म’ का माहौल खत्म हो और केवल एक या दो बड़े कॉरपोरेट समूहों को पक्षपातपूर्ण तरीक़े से बढ़ावा देने की नीति छोड़ी जाए।
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हक मनीषा
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