कोलकाता, दो जून (भाषा) सांप्रदायिक टिप्पणियों वाला वीडियो अपलोड करने के आरोप में गिरफ्तार 22 वर्षीय एक महिला ‘इन्फ्लुएंसर’ के वकील ने सोमवार को यहां अलीपुर अदालत में एक याचिका दायर कर आरोप लगाया कि उनकी मुवक्किल को जेल में बुनियादी सुविधाओं से वंचित रखा जा रहा है तथा अन्य कैदियों से उसे धमकी मिल रही है।
वकील मोहम्मद समीमुद्दीन ने बताया कि अदालत ने इस संबंध में चार जून तक रिपोर्ट मांगी है।
समीमुद्दीन ने ‘पीटीआई-भाषा’ से कहा, ‘‘अलीपुर महिला सुधार गृह के अंदर उचित साफ-सफाई नहीं रखी जाती। मेरी मुवक्किल को बुनियादी सुविधाएं भी नहीं दी जा रही हैं। उसे गुर्दे से जुड़ी समस्या है और वह ठीक महसूस नहीं कर रही है। हमने एक याचिका दायर की है और अदालत ने चार जून तक रिपोर्ट मांगी है।’’
याचिका में यह भी आरोप लगाया गया कि उसे जेल के अंदर अन्य कैदियों से कई तरह की धमकियां मिल रही हैं, जिससे उसे अपनी सुरक्षा को लेकर डर है।
समीमुद्दीन ने कहा, ‘‘ये धमकियाँ एक असुरक्षित वातावरण पैदा कर रही हैं, जिससे उसकी मानसिक शांति और शारीरिक सुरक्षा पर गंभीर असर पड़ रहा है।’’
कोलकाता पुलिस ने शुक्रवार रात हरियाणा के गुरुग्राम से शर्मिष्ठा पनोली को सांप्रदायिक टिप्पणियों वाला एक वीडियो अपलोड करने के आरोप में गिरफ्तार किया था। वीडियो में कहा गया था कि बॉलीवुड कलाकार ‘ऑपरेशन सिंदूर’ पर चुप हैं।
शनिवार को कोलकाता की एक अदालत ने पनोली को 13 जून तक न्यायिक हिरासत में भेज दिया था।
समीमुद्दीन ने कहा, ‘‘उसकी चिकित्सा स्थिति और उसे मिली धमकियों को देखते हुए, हमने सुरक्षा और गोपनीयता के लिए न्यायिक हिरासत में उसके वास्ते एक अलग कमरे तथा उसे गुर्दे की बीमारी और स्वच्छता की आवश्यकता के मद्देनजर एक अलग बाथरूम का उपयोग करने की अनुमति दिए जाने की अपील की है।’’
पुलिस ने बताया कि पनोली के खिलाफ विभिन्न समूहों के बीच दुश्मनी को बढ़ावा देने, धार्मिक भावनाओं को ठेस पहुंचाने के इरादे से दुर्भावनापूर्ण कृत्य करने और शांति भंग करने के इरादे से जानबूझकर अपमान करने संबंधी धाराओं के तहत मामला दर्ज किया गया है।
भाषा नेत्रपाल दिलीप
दिलीप