नयी दिल्ली, 21 जुलाई (भाषा) नागर विमानन मंत्री के. राममोहन नायडू ने सोमवार को राज्यसभा में कहा कि अहमदाबाद में पिछले महीने हुई एयर इंडिया विमान दुर्घटना की जांच कर रहा वायुयान दुर्घटना जांच ब्यूरो (एएआईबी) पूरी तरह निष्पक्ष एजेंसी है और वह तय नियमों के तहत विस्तृत और ठोस जांच कर रहा है।
राज्यसभा में प्रश्नकाल के दौरान पूरक सवालों के जवाब में नायडू ने बताया कि विमान हादसे के दस दिन बाद एएआईबी ने शुरुआती जांच रिपोर्ट दी। उनहोंने बताया कि जांच प्रक्रिया अंतरराष्ट्रीय मानकों के अनुसार चल रही है।
उन्होंने कहा, ‘‘हम सच्चाई के साथ खड़े होना चाहते हैं, किसी और चीज के साथ नहीं… हम जानना चाहते हैं कि एयर इंडिया विमान हादसे में वास्तव में क्या हुआ और यह केवल एएआईबी की अंतिम जांच रिपोर्ट के बाद ही सामने आ सकेगा। हमें जांच प्रक्रिया का सम्मान करना चाहिए। जांच के बाद ही हम कह सकते हैं कि क्या हुआ, कैसे हुआ… और फिर सुधारात्मक कदम उठाए जाएंगे।’’
एयर इंडिया का बोइंग 787-8 विमान 12 जून को अहमदाबाद से लंदन गैटविक जा रहा था, जो उड़ान भरने के तुरंत बाद दुर्घटनाग्रस्त हो गया। इस हादसे में 260 लोगों की मौत हो गई, जिनमें 19 लोग ज़मीन पर मौजूद थे। विमान में सवार 242 यात्रियों में से केवल एक जीवित बचा।
दुर्घटना में पायलटों की संभावित भूमिका के बारे में अटकलों पर नायडू ने कहा कि एएआईबी की शुरुआती रिपोर्ट में जो कहा गया है वह कॉकपिट वॉयस रिकॉर्डर और फ्लाइट डाटा रिकॉर्डर के तथ्यों के आधार पर है।
उन्होंने कहा ‘‘मैं इस सदन में यह कह सकता हूं कि एएआईबी की प्रक्रिया गहन, नियम आधारित और व्यापक है। वे पूरी पारदर्शिता के साथ जांच कर रहे हैं और पूरी तरह निष्पक्ष हैं।’’
नायडू ने कहा, ‘‘एएआईबी नियम-आधारित, स्पष्ट और पूरी तरह निष्पक्ष प्रक्रिया का पालन कर रहा है।’’
नायडू ने कहा कि न केवल भारत में, बल्कि पश्चिमी मीडिया में भी अलग-अलग खबरें आ रही हैं जो अपने-अपने नजरिए और कथाएं पेश कर रही हैं। उन्होंने स्पष्ट किया, ‘‘मैं आपसे कहना चाहता हूं कि हम जांच को तथ्यों के आधार पर देख रहे हैं। हम सत्य के साथ खड़े रहना चाहते हैं, न कि उसके साथ जो अन्य हितधारक के साथ हो रहा है।’’
मंत्री ने यह भी जोर दिया कि पुख्ता जवाब और भविष्य में सुधारात्मक कदम केवल तब ही उठाए जा सकते हैं जब एएआईबी की अंतिम रिपोर्ट तैयार हो।
उन्होंने बताया कि 12 जुलाई को एएआईबी ने हादसे की प्रारंभिक रिपोर्ट जारी की। उनके अनुसार, 17 जुलाई को ब्यूरो ने कहा कि अभी कोई ‘‘अंतिम निष्कर्ष’’ निकालना जल्दबाज़ी होगी, क्योंकि जांच अब भी जारी है।
नायडू के मुताबिक, एएआईबी ने सभी से अपील की है कि वे जांच पूरी होने से पहले पूर्वाग्रहपूर्ण धारणा न बनाएं।
उच्च सदन में पूरक प्रश्नों के उत्तर में मंत्री ने यह भी बताया कि विमान के ब्लैक बॉक्स से डेटा निकालने में एएआईबी को सफलता मिली है। उन्होंने कहा कि यह पहली बार है जब भारत ने ब्लैक बॉक्स की देश के अंदर ही जांच करने का निर्णय लिया और इसे सफलतापूर्वक पूरा किया है।
देश के विमानन क्षेत्र की प्रगति पर अपनी बात रखते हुए नायडू ने कहा कि प्रतिदिन लगभग 3,500 उड़ानें आती-जाती हैं और करीब पांच लाख यात्री हवाई यात्रा करते हैं। उन्होंने कहा, ‘‘हमारा लक्ष्य विमानन हादसों को शून्य तक लाना है।’’
भारत में 160 से अधिक हवाई अड्डे हैं।
नागर विमानन महानिदेशालय (डीजीसीए) में मानव संसाधनों की कमी संबंधी सवालों के जवाब में नायडू ने कहा कि भर्ती और पदसृजन एक सतत प्रक्रिया है और पिछले साल 103 पदों पर नियुक्ति की गई।
उन्होंने कहा, ‘‘हम इस वर्ष अक्टूबर तक डीजीसीए में 190 पदों पर भर्ती करने की योजना बना रहे हैं।’’
भाषा मनीषा अविनाश
अविनाश