नयी दिल्ली, 29 जुलाई (भाषा) दिल्ली उच्च न्यायालय ने मंगलवार को कहा कि अदालत जेल में बंद लोकसभा सदस्य अब्दुल रशीद शेख की संसद के मानसून सत्र में भाग लेने के लिए अंतरिम जमानत याचिका पर 31 जुलाई को सुनवाई करेगी।
न्यायमूर्ति विवेक चौधरी और न्यायमूर्ति मिनी पुष्करणा की पीठ ने यह भी संकेत दिया कि अदालत रशीद की अधीनस्थ न्यायालय के आदेश को चुनौती देने वाली याचिका को एक अन्य पीठ के समक्ष भेजने के लिए भी इच्छुक है।
अधीनस्थ अदालत ने रशीद को 24 जुलाई से चार अगस्त तक संसद सत्र में भाग लेने के लिए हिरासत के दौरान प्रतिदिन 1.44 लाख रुपये का यात्रा खर्च वहन करने का निर्देश दिया था।
न्यायमूर्ति चौधरी ने विचार रखा कि रशीद की संसद के मानसून सत्र में भाग लेने के लिए यात्रा खर्च में छूट देने का अनुरोध करने वाली याचिका पर उस पीठ द्वारा ही सुनवाई की जानी चाहिए, जिसने बजट सत्र के दौरान उनकी इसी तरह की याचिका पर सुनवाई की थी।
रशीद को इंजीनियर रशीद के नाम से जाना जाता है।
अदालत ने रशीद के वकील से कहा, “संसद के हर सत्र के लिए नयी अर्जी दायर नहीं की जा सकती। आपने पहले भी एक संशोधित अर्जी दायर की थी। आपको संशोधित अर्जी पिछली पीठ के समक्ष रखनी चाहिए थी और यह आगे के सभी सत्रों के लिए लागू होगी। एक बार जब खंडपीठ ने आदेश दे दिया तो हम उसी आदेश का पालन करेंगे। हमें न्यायिक अनुशासन का पालन करना होगा। हम खंडपीठ के आदेश के खिलाफ अपील नहीं कर सकते।”
न्यायाधीशों ने कहा, “जब एक पीठ पहले ही इसी तरह के मुद्दे पर फैसला ले चुकी है, तो इस मामले की सुनवाई करना हमारी ओर से गलत होगा। मुद्दा वही है कि किसी व्यक्ति को किन शर्तों पर संसद में उपस्थित होने की अनुमति दी जा सकती है।”
इसके अलावा, रशीद की नियमित जमानत याचिका भी उच्च न्यायालय में लंबित है।
मुख्य वकील की अनुपलब्धता के कारण वकील ने अदालत से मामले को कुछ समय के लिए स्थगित करने का आग्रह किया, जिसके बाद उच्च न्यायालय ने मामले की सुनवाई 31 जुलाई के लिए सूचीबद्ध कर दी।
जम्मू-कश्मीर के बारामूला से सांसद रशीद 2019 से दिल्ली की तिहाड़ जेल में बंद हैं।
उन्हें 2017 के आतंकी-वित्तपोषण मामले में गैरकानूनी गतिविधियां (रोकथाम) अधिनियम (यूएपीए) के तहत राष्ट्रीय अन्वेषण अभिकरण (एनआईए) ने गिरफ्तार किया गया था।
भाषा जितेंद्र नेत्रपाल
नेत्रपाल