राजस्थान के मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा ने सूबे के पार्टी सांसदों, विधायकों और वरिष्ठ पदाधिकारियों के साथ दो दिन तक चली महत्वपूर्ण बैठकों में विकास योजनाओं और आगामी चुनावी रणनीति पर गहन चर्चा की। इन बैठकों में प्रदेश के विकास कार्यों की समीक्षा के साथ ही आने वाले पंचायतीराज और निकाय चुनावों को लेकर फीडबैक लिया गया।
विधायकों ने जमीनी हालात और जनता की अपेक्षाओं से जुड़ी जानकारियां साझा कीं। बैठकों में मौजूद विधायकों का कहना था कि मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा ने उनके सुझावों को गंभीरता से सुना और उन पर जल्द ही अमल करने का भरोसा दिलाया। इस नई पहल से विधायक और पार्टी कार्यकर्ता उत्साहित नजर आए।
संगठन-सरकार समन्वय पर जोर
राजस्थान के मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा ने सोमवार और मंगलवार को लगातार दो दिन तक अलग-अलग राउंड में चार-पांच जिलों के ग्रुप से विधायकों से संवाद किया। जयपुर स्थित मुख्यमंत्री आवास पर आयोजित इन बैठकों में सरकार के कामकाज की समीक्षा की गई। बैठक का मुख्य उद्देश्य प्रदेश में चल रहे विकास कार्यों का जमीनी आकलन करना, जनप्रतिनिधियों से फीडबैक लेना और आगामी विधानसभा सत्र से पहले संगठन व सरकार के बीच बेहतर समन्वय स्थापित करना रहा।
विकास कार्यों का रिपोर्ट कार्ड पेश
बैठक के दौरान विधायकों ने अपने-अपने क्षेत्रों से जुड़े मुद्दे उठाए और विकास कार्यों पर विस्तृत जानकारी दी। मुख्यमंत्री ने सभी की बातों को गंभीरता से सुना और आवश्यक कार्रवाई का आश्वासन भी दिया। सरकार और जनता के बीच विश्वास को और मजबूत करने के उद्देश्य से आयोजित संवाद कार्यक्रम में कई अहम मुद्दों पर चर्चा हुई। बैठक में विकास कार्यों की समीक्षा की गई, जहां कई विधायक अपने-अपने क्षेत्रों का रिपोर्ट कार्ड लेकर पहुंचे।
बैठक के बाद नेताओं ने साझा की मुख्य बातें
बैठक में यह भी तय किया गया कि अब फॉलोअप मॉनिटरिंग सिस्टम लागू किया जाएगा, जिससे विकास योजनाओं और कार्यों की नियमित निगरानी हो सके। इसके साथ ही सरकार और संगठन के बेहतर तालमेल पर जोर दिया गया। बैठक के बाद उपमुख्यमंत्री डॉ. प्रेमचंद बैरवा, कैबिनेट मंत्री सुमित गोदारा और राज्य वित्त आयोग के अध्यक्ष अरुण चतुर्वेदी ने मीडिया से बातचीत करते हुए बैठक की मुख्य बातें साझा कीं।
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सरकार की 2 साल की घोषणाओं पर हुई चर्चा
विधायक पब्बाराम विश्नोई ने कहा कि मुख्यमंत्री के साथ सार्थक संवाद हुआ है। इस दौरान विधायकों ने अपने कामों की रिपोर्ट भी सीएम को सौंपी। मुख्यमंत्री ने निर्देश दिए कि विधायक अपने-अपने क्षेत्रों में अतिवृष्टि से हुए नुकसान का आकलन करें। वहीं विधायक पाबू सिंह राठौड़ ने कहा कि बैठक में सरकार की पिछले दो वर्षों की घोषणाओं पर चर्चा हुई। उनका दावा है कि सरकार द्वारा किए गए अधिकांश काम धरातल पर उतर चुके हैं। साथ ही आगे की डिमांड और स्थानीय मांगों को मुख्यमंत्री के सामने रखा गया। मुख्यमंत्री ने व्यक्तिगत रूप से जिलेवार संवाद करते हुए स्पष्ट किया कि उनकी मंशा सत्ता और संगठन के तालमेल से प्रदेश का सर्वांगिण विकास करने की है।
Q1. मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा ने किस उद्देश्य से विधायकों के साथ बैठकें कीं?
बैठक का मुख्य उद्देश्य प्रदेश में चल रहे विकास कार्यों का जमीनी आकलन करना, जनप्रतिनिधियों से फीडबैक लेना और संगठन व सरकार के बीच बेहतर समन्वय स्थापित करना था।
Q2. बैठक में किन मुद्दों पर चर्चा हुई?
बैठक में विकास योजनाओं की समीक्षा, आगामी पंचायतीराज और निकाय चुनावों की रणनीति, अतिवृष्टि से हुए नुकसान का आकलन और स्थानीय मांगों पर चर्चा हुई।
Q3. विधायकों ने बैठक में क्या साझा किया?
विधायकों ने अपने-अपने क्षेत्रों का रिपोर्ट कार्ड पेश किया, जमीनी हालात और जनता की अपेक्षाओं से जुड़ी जानकारियां साझा कीं और आगे की डिमांड और स्थानीय मांगें मुख्यमंत्री को बताईं।
Q4. मुख्यमंत्री ने विधायकों से क्या निर्देश दिए?
मुख्यमंत्री ने निर्देश दिए कि विधायक अपने-अपने क्षेत्रों में अतिवृष्टि से हुए नुकसान का आकलन करें और सरकार के विकास कार्यों के अमल पर ध्यान दें।
Q5. बैठक के बाद क्या नई पहल लागू की जाएगी?
बैठक में तय किया गया कि फॉलोअप मॉनिटरिंग सिस्टम लागू किया जाएगा, जिससे विकास योजनाओं और कार्यों की नियमित निगरानी सुनिश्चित हो सके।