Political Dynasties in Rajasthan: जयपुर। राजस्थान में राजनीतिक दल अक्सर परिवारवाद को खत्म करने का दावा करते हैं, लेकिन हकीकत कुछ और ही दिखाती है। राज्य में परिवारवाद अमरबेल की तरह फैला हुआ है और लगभग हर पार्टी इससे अछूती नहीं है। एडीआर (ADR) की ताजा रिपोर्ट के अनुसार, राजस्थान में हर छठा नेता राजनीति में अपने परिवार की विरासत के चलते सक्रिय है। आंकड़ों पर नजर डालें तो 32 विधायक ऐसे हैं जिनका परिवार पहले से राजनीतिक मंच पर सक्रिय है। 7 लोकसभा सांसद परिवारवाद के चलते राजनीति में पांव जमाए हुए हैं। वहीं 4 राज्यसभा सांसद भी इसी श्रेणी में आते हैं।
एडीआर (ADR) की ताजा रिपोर्ट में राजस्थान की सियासत में परिवारवाद की स्थिति स्पष्ट हुई है। रिपोर्ट के अनुसार, विधानसभा में 199 विधायकों में से 32 ऐसे हैं जिनका राजनीति में प्रवेश परिवारवाद की छाया में हुआ। लोकसभा में 25 सांसदों में से 7 और राज्यसभा में 10 में से 4 सांसद इसी श्रेणी में आते हैं।

इनमें कई ऐसे नाम शामिल हैं, जिनके पिता ही नहीं बल्कि दादा और नाना भी सत्ता में सक्रिय रहे हैं। राजस्थान की सियासत में बड़े परिवारों का प्रभाव अब भी साफ झलकता है। एडीआर की रिपोर्ट और राजनीतिक विश्लेषकों के अनुसार, कई परिवार दशकों से सत्ता में अपनी मौजूदगी बनाए हुए हैं। ये मुख्य उदाहरण हैं:
- वसुंधरा राजे परिवार – पूर्व मुख्यमंत्री का राजनीतिक वर्चस्व
- पायलट परिवार – लंबे समय से सक्रिय राजनेता
- मीणा समाज के कई नेता – पारिवारिक विरासत पर राजनीति
- मिर्धा परिवार और मेवाड़ घराना – क्षेत्रीय प्रभाव और सत्ता में पकड़
इस सूची में राष्ट्रीय स्तर पर सोनिया गांधी का परिवार भी शामिल है, जिनसे तीन प्रधानमंत्री देश को मिले हैं।
ये 32 विधायक परिवारवाद से
नाम |
निर्वाचन क्षेत्र |
पारिवारिक पृष्ठभूमि |
रामस्वरूप लांबा |
नसीराबाद |
पिता सांवरलाल जाट, सांसद-विधायक रहे |
ललित मीना |
किशनगंज |
पिता हेमराज मीणा, पार्टी उपाध्यक्ष |
अरुण चौधरी |
पचपदरा |
पिता अमराराम चौधरी, राज्य में मंत्री रहे |
शैलेश सिंह |
डीग-कुम्हेर |
पिता दिगंबर सिंह, राज्य में मंत्री रहे |
जगतसिंह |
नदबई |
पिता नटवर सिंह, केन्द्र में मंत्री रहे |
अंशुमानसिंह भाटी |
कोलायत |
पिता महेन्द्र सिंह भाटी सांसद, दादा देवीसिंह भाटी राज्य में मंत्री रहे |
अनिल कुमार शर्मा |
सरदारशहर |
पिता भंवरलाल शर्मा, विधायक रहे |
मनोज कुमार |
सुजानगढ़ |
पिता भंवरलाल मेघवाल, राज्य में मंत्री रहे |
रोहित बोहरा |
राजाखेड़ा |
पिता प्रद्युम्न सिंह, राज्य में मंत्री रहे |
रूपेन्द्र सिंह कुन्नर |
करणपुर |
पिता गुरमीत सिंह कुन्नर, विधायक रहे |
गुरवीर सिंह |
सार्दुलशहर |
दादा गुरजंट सिंह बरार, राज्य में मंत्री रहे |
विद्याधर सिंह |
फुलेरा |
पिता हरिसिंह, विधायक रहे |
अतुल भंसाली |
जोधपुर |
चाचा कैलाश भंसाली, विधायक रहे |
हरेन्द्र मिर्धा |
नागौर |
पिता रामनिवास मिर्धा, दादा बलदेव राम मिर्धा, केन्द्र में मंत्री रहे |
हेमन्त मीणा |
प्रतापगढ़ |
पिता नंदलाल मीणा, सांसद और राज्य में मंत्री रहे |
विश्वराज सिंह मेवाड़ |
नाथद्वारा |
पिता महेन्द्र सिंह मेवाड़ा, सांसद रहे |
वीरेन्द्र सिंह |
दांतारामगढ़ |
पिता नारायण सिंह, विधायक रहे |
समाराम गरासिया |
पिंडवाड़ा-आबू |
भाई लाला गरासिया, विधायक रहे |
सचिन पायलट |
टोंक |
पिता राजेश पायलट, केन्द्र में मंत्री; माता रमा पायलट, सांसद रहीं |
झाबर सिंह खर्रा |
श्रीमाधोपुर |
पिता हरलाल सिंह खर्रा, राज्य में मंत्री रहे |
हाकम अली खान |
फतेहपुर |
भाई भंवरू खां, विधायक रहे |
प्रतापसिंह सिंघवी |
छबड़ा |
पिता प्रेमसिंह सिंघवी, विधायक रहे |
अजय सिंह |
डेगाना |
पिता रामरघुनाथ चौधरी, सांसद रहे |
प्रियंका चौधरी |
बाड़मेर |
दादा गंगाराम चौधरी, राज्य में मंत्री रहे |
शोभारानी कुशवाह |
धौलपुर |
पति बनवारीलाल कुशवाह, विधायक रहे |
कुमारी रीटा चौधरी |
मंडावा |
पिता रामनारायण चौधरी, नेता प्रतिपक्ष रहे |
सिद्दी कुमारी |
बीकानेर |
दादा करणीसिंह बहादुर, सांसद रहे |
सुशीला रामेश्वर डूडी |
नौखा |
पति रामेश्वर डूडी, सांसद और नेता प्रतिपक्ष रहे |
वसुंधरा राजे |
झालरापाटन |
माता विजयाराजे सिंधिया, सांसद रहीं |
कल्पना देवी |
लाडपुरा |
पति इ्ज्येराज सिंह, सांसद; पिता बृजराज सिंह, सांसद रहे |
दीप्ती किरण माहेश्वरी |
राजसमंद |
माता किरण माहेश्वरी, सांसद और राज्य में मंत्री रहीं |
शांता अमृतलाल मीणा |
सलूंबर |
पति अमृतलाल मीणा, विधायक रहे |
आंकड़ों के अनुसार, राज्य में कुल 235 सीटों (विधानसभा, लोकसभा और राज्यसभा) में से 43 विधायक और सांसद ऐसे हैं, जिनकी राजनीतिक शुरुआत पारिवारिक पृष्ठभूमि की वजह से हुई। वर्तमान में राज्य विधानसभा में 199 विधायक हैं, जिनमें से कई की राजनीति में प्रवेश पूर्वजों या परिवार के जरिए हुआ। राजनीतिक विश्लेषकों का कहना है कि यह स्थिति बताती है कि राजस्थान की सियासत में राजनीतिक विरासत का असर अब भी मजबूत है।
नाम |
निर्वाचन क्षेत्र |
पारिवारिक पृष्ठभूमि |
राहुल कस्वा |
चूरू |
पिता रामसिंह सांसद, दादा दीपचंद और माता कमला विधायक रहीं |
दुष्यंत सिंह |
झालावाड़ |
मां वसुंधरा राजे, दो बार सीएम रहीं |
बृजेन्द्र सिंह ओला |
झुंझुनूं |
पिता शीशराम ओला, केन्द्र में मंत्री रहे |
हनुमान बेनीवाल |
नागौर |
पिता रामदेव बेनीवाल और भाई नारायण बेनीवाल, विधायक रहे |
हरीशचन्द्र मीणा |
टोंक-स.माधोपुर |
भाई नमोनारायण मीणा, केन्द्र में मंत्री रहे |
मंजु शर्मा |
जयपुर |
पिता भंवरलाल शर्मा, राज्य में मंत्री रहे |
महिमा कुमारी मेवाड़ा |
राजसमंद |
पति विश्वराज सिंह विधायक हैं, पहले ससुर महेन्द्र सिंह और नाना मानवेन्द्र शाह, सांसद रहे |
ये चार राज्यसभा सांसद
नाम |
पारिवारिक पृष्ठभूमि |
मुकुल बालकृष्ण वासनिक |
पिता बालकृष्ण वासनिक, सांसद रहे |
रणदीप सिंह सुरजेवाला |
पिता शमसेर सिंह सुरजेवाला, विधायक-सांसद रहे |
नीरज डांगी |
पिता दिनेश डांगी, मंत्री रहे |
सोनिया गांधी |
पति राजीव गांधी; सास व नाना-ससुर प्रधानमंत्री रहे |