बीते बुधवार को राजस्थान के भीलवाड़ा में पूर्व मुख्यमंत्री शिवचरण माथुर और उनकी पत्नी सुशीला देवी माथुर की मूर्ति अनावरण समारोह के दौरान एक दिलचस्प दृश्य देखने को मिला। इस मौके पर पूर्व मुख्यमंत्री अशोक गहलोत और कांग्रेस के राष्ट्रीय महासचिव सचिन पायलट एक ही मंच पर दिखाई दिए, जो पहले एक-दूसरे से दूरी बनाए रखने के लिए जाने जाते थे।
समारोह के दौरान गहलोत ने हल्के-फुल्के अंदाज में पायलट को घड़ी दिखाते हुए कहा, देखिए सचिन, समय हो गया है, मुझे जाना है। दोनों नेताओं की इस जुगलबंदी को देखकर सियासी गलियारों में कई तरह की चर्चाएं हो रही हैं।
कार्यक्रम में दौसा सांसद मुरारीलाल मीणा ने शिवचरण माथुर की सादगी और सिद्धांतों की प्रशंसा की। उन्होंने कहा कि माथुर जी ऐसे नेता थे, जिन्होंने छोटी-सी गलती पर भी इस्तीफा दे दिया था, जबकि आज के नेता कितनी भी बड़ी गलती होने पर कुर्सी से चिपके रहते हैं।
सचिन पायलट ने मौजूदा हालात पर राय दी
मूर्ति अनावरण के बाद सचिन पायलट ने देश के मौजूदा हालात और बिहार चुनाव पर खुलकर अपनी राय रखी। उन्होंने भारत के मुख्य न्यायाधीश (CJI) पर हमले की कोशिश की कड़ी निंदा की और इसे ‘नफरत की राजनीति’ का परिणाम बताया। पायलट ने कहा कि पिछले 11 वर्षों से देश में टकराव की स्थिति बनी हुई है और जहर फैलाने की कोशिश की गई है, जिसके दुष्परिणाम अब सामने आ रहे हैं। उन्होंने स्पष्ट किया कि देश में ऐसी हिंसा की कोई जगह नहीं होनी चाहिए।
बिहार विधानसभा चुनाव को लेकर पायलट ने मुख्यमंत्री नीतीश कुमार पर जमकर हमला बोला। उन्होंने नीतीश को ‘कुर्सी से चिपके’ रहने वाला नेता बताते हुए कहा कि नीतीश कुमार अनुभवी हैं, लेकिन 20 साल से सत्ता में बने रहने के लिए कभी आरजेडी और कभी बीजेपी के साथ गठजोड़ कर लेते हैं।
पायलट ने कहा कि सत्ता के लिए मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने बिहार की जनता के हितों से समझौता किया है। उन्होंने दावा किया कि बिहार की जनता अब बदलाव चाहती है और तेजस्वी यादव व राहुल गांधी की जोड़ी वहां के युवाओं को आकर्षित कर रही है। पायलट ने भरोसा जताया कि इस बार बिहार में सत्ता परिवर्तन होगा।
पायलट ने एसएमएस अस्पताल हादसे पर सरकार को घेरा
पायलट ने जयपुर के एसएमएस अस्पताल में हाल ही में हुए हादसे को लेकर राजस्थान सरकार पर निशाना साधा। उन्होंने कहा कि यह हादसा दिखाता है कि पूरा सिस्टम कोलैप्स कर रहा है। झालावाड़ में निर्दोष बच्चों की मौत, जयपुर में टैंकर हादसा और अब एसएमएस अस्पताल में ताजा हादसा—इन सबकी जिम्मेदारी व्यवस्थागत खामियों की है।
उन्होंने सरकार के रवैये पर सवाल उठाते हुए कहा कि प्रशासन और सरकार में न तो कोई दिशा है और न ही कोई नियंत्रण। पायलट ने तंज कसते हुए कहा कि कमेटी बना देना, जांच करा देना और फिर आगे बढ़ जाना—यही सरकार का रवैया बन गया है। दुर्भाग्य से कोई यह कहने वाला नहीं है कि ऐसी घटनाएं दोबारा नहीं होंगी।
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