नयी दिल्ली, नौ जून (भाषा) डालमिया भारत ने कहा है कि बड़ी कंपनियों द्वारा सीमेंट उद्योग में एकीकरण जारी रहने की उम्मीद है। इसके साथ ही प्रमुख कंपनियां अगले दो साल में अपनी क्षमता हिस्सेदारी को 60 प्रतिशत से अधिक बढ़ा सकती हैं।
भारत की चौथी सबसे बड़ी सीमेंट विनिर्माता कंपनी की ताजा वार्षिक रिपोर्ट के अनुसार, डालमिया सीमेंट को वित्त वर्ष 2025-26 में सीमेंट क्षेत्र के लिए 7-8 प्रतिशत की वृद्धि की उम्मीद है।
पिछले साल आम चुनावों और अनियमित बारिश के बीच सीमेंट की मांग लगभग पांच प्रतिशत की दर से बढ़ी थी।
कंपनी के प्रबंध निदेशक गौतम डालमिया और प्रबंध निदेशक एवं मुख्य कार्यपालक अधिकारी (सीईओ) पुनीत यदु डालमिया ने कहा, ”हमारा मानना है कि वित्त वर्ष 2025-26 में मांग वृद्धि सालाना आधार पर 7-8 प्रतिशत पर वापस आ जाएगी, जो सभी प्रमुख कारकों – आवास, बुनियादी ढांचे के निर्माण और निजी निवेश से स्वस्थ मांग के कारण होगी। इस साल मजबूत मूल्य निर्धारण और लागत बचत पर ध्यान देने से भी लाभ होने की उम्मीद है।”
एकीकरण के बारे में उन्होंने कहा कि पिछले तीन वर्षों के दौरान इसमें वृद्धि हुई है, और शीर्ष चार कंपनियों की क्षमता हिस्सेदारी 2021-22 के लगभग 48 प्रतिशत से बढ़कर 2024-25 में लगभग 58 प्रतिशत हो गई है।
उन्होंने शेयरधारकों से कहा कि सिर्फ वित्त वर्ष 2024-25 में 5.2 करोड़ टन की क्षमता एक हाथ से दूसरे हाथ में गई। हालांकि, पिछले दो दशक में उद्योग की कुल स्थापित सीमेंट क्षमता 5-6 प्रतिशत की दर से बढ़ी है।
उन्होंने कहा, ”अगले कुछ साल के दौरान आपूर्ति में 7-8 प्रतिशत की दर से वृद्धि होने की उम्मीद है, जो क्षेत्र के क्षमता उपयोग को वर्तमान स्तर पर बनाए रखेगा।”
उद्योग की स्थापित क्षमता वित्त वर्ष 2024-25 के अंत तक लगभग 67 करोड़ टन तक पहुंचने का अनुमान है।
भाषा पाण्डेय अजय
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