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Tuesday, August 19, 2025

बंगाल: हिंसा पर कार्यस्थगन प्रस्ताव अस्वीकृत होने के खिलाफ भाजपा विधायकों ने किया सदन से बहिर्गमन

Newsबंगाल: हिंसा पर कार्यस्थगन प्रस्ताव अस्वीकृत होने के खिलाफ भाजपा विधायकों ने किया सदन से बहिर्गमन

कोलकाता, 12 जून (भाषा) पश्चिम बंगाल के मुर्शिदाबाद और महेशतला में हिंसा की घटनाओं को लेकर पेश कार्य स्थगन प्रस्तावों को विधानसभा अध्यक्ष द्वारा स्वीकार नहीं किए जाने के बाद बृहस्पतिवार को भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के विधायकों ने सदन से बहिर्गमन किया।

विधानसभा अध्यक्ष बिमान बनर्जी ने भाजपा विधायकों पर सदन की मर्यादा का पालन नहीं करने और भाजपा ने उन पर तृणमूल कांग्रेस कार्यकर्ता की तरह काम करने का आरोप लगाया।

भाजपा विधायकों के गले में भगवा गमछा था।

नेता प्रतिपक्ष शुभेंदु अधिकारी और तीन अन्य विधायकों ने अप्रैल में मुर्शिदाबाद में हुई हिंसा पर स्थगन प्रस्ताव पेश किया जबकि पार्टी सहयोगी पुना भेंगरा ने बुधवार को महेशतला में हुई हिंसा पर तीन अन्य सदस्यों के साथ दूसरा प्रस्ताव पेश किया।

मुर्शिदाबाद में तीन लोगों की मौत हुई थी जबकि महेशतला में भीड़ ने पुलिसकर्मियों पर हमला किया था।

अध्यक्ष बिमान बनर्जी ने दोनों प्रस्तावों को यह कहते हुए खारिज कर दिया कि मुर्शिदाबाद हिंसा का मामला न्यायालय में विचाराधीन है और महेशतला झड़प से संबंधित मुद्दों पर कार्य स्थगन प्रस्ताव के तहत सदन में चर्चा नहीं की जा सकती।

भाजपा विधायकों ने अध्यक्ष के फैसले का विरोध किया और राज्य सरकार के खिलाफ नारे लगाए।

उन्होंने पूजा स्थलों पर कथित हमलों की तस्वीरें भी लहराईं।

अधिकारी के नेतृत्व में भाजपा विधायकों ने विधानसभा से बाहर निकलकर राजभवन तक मार्च निकाला।

अधिकारी ने राज्यपाल सीवी आनंद बोस से राज्य की स्थिति पर चर्चा की।

इस बीच, विधानसभा अध्यक्ष ने सदन की कार्यवाही जारी रखी।

राज्य सरकार के मंत्रियों चंद्रिमा भट्टाचार्य और शशि पांजा ने भाजपा विधायकों के आचरण की निंदा करते हुए दावा किया कि सदन में भगवा झंडा लहराना और ‘हिंदू विरोधी सरकार’ जैसे नारे लगाना ‘अनुचित व असंसदीय’ है।

अध्यक्ष ने बाद में अपने कक्ष में संवाददाताओं से कहा कि मुर्शिदाबाद पर प्रस्ताव न्यायालय में विचाराधीन मामले से संबंधित था, जहां पुलिस जांच जारी है जबकि दूसरा मामला उतना महत्वपूर्ण नहीं था।

बिमान बनर्जी ने कहा, “हालांकि, मैंने उन्हें (भाजपा विधायकों को) ‘उल्लेख’ के समय इस मुद्दे को उठाने का मौका दिया था। लेकिन उन्होंने अलग-अलग मुद्दे उठाने शुरू कर दिए, क्योंकि उनका एकमात्र उद्देश्य विधानसभा की कार्यवाही को रोकना था।”

बनर्जी ने आरोप लगाया कि विपक्षी विधायकों ने कार्यवाही को रोकने की कोशिश की, लेकिन वे असफल रहे और फिर बहिर्गमन कर गए।

विधानसभा अध्यक्ष ने भाजपा विधायकों पर ‘संसदीय लोकतंत्र के नियमों और प्रक्रियाओं का पालन नहीं करने’ का आरोप लगाते हुए कहा, “भले ही मैं शंकर घोष जैसे उनके नेताओं से कहूं कि वे अपने विधायकों से शिष्टाचार का पालन करवाएं, लेकिन मुझे यकीन नहीं है कि उनकी बात पर ध्यान दिया जाएगा।”

भाजपा के मुख्य सचेतक शंकर घोष ने ‘पीटीआई-भाषा’ से कहा, “वह (विधानसभा अध्यक्ष) तृणमूल कांग्रेस के पदाधिकारी की तरह काम कर रहे हैं और उन्होंने अध्यक्ष की भूमिका की गरिमा को कम किया है। अतीत में उनके कई कार्य इस बात की गवाही देंगे। अगर कुछ जिहादी तत्वों द्वारा लोगों पर हमलों पर विधानसभा में चर्चा नहीं हो सकती, तो फिर किस मुद्दे पर चर्चा हो सकती है?”

बाद में, सदन की कार्यवाही दिन भर के लिए स्थगित कर दी गई।

भाषा जितेंद्र अविनाश

अविनाश

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