तिरुवनंतपुरम, 14 जून (भाषा) केरल के कई हिस्सों, विशेषकर राज्य के ऊंचे पर्वतीय क्षेत्रों और तटीय क्षेत्रों में शनिवार को व्यापक बारिश और तेज हवाओं के कारण जनजीवन अस्त-व्यस्त हो गया।
स्थानीय लोगों ने बताया कि राज्य भर से पेड़ उखड़ने, जलमग्न होने, सड़कें बह जाने और घरों को नुकसान पहुंचने की खबरें मिली हैं। कल रात से लगातार हो रही बारिश के कारण उत्तरी जिलों के ऊंचे इलाकों में मुख्य रूप से पेड़ गिरने की खबरें आई हैं।
यहां के तटीय गांव वेट्टुकाडु में बारिश और हवाओं के साथ ऊंची लहरों और समुद्री कटाव के कारण कई घर क्षतिग्रस्त हो गए।
कई स्थानों पर मछुआरे परिवार समुद्र के कटाव को रोकने के लिए रेत से भरी बोरियां रखते देखे गए।
स्थानीय लोगों ने शिकायत की है कि यहां के तटीय क्षेत्र पेरुमाथुरा में तेज हवाओं के कारण एक मकान की टिन की छत उड़ जाने से वह क्षतिग्रस्त हो गया।
उत्तरी कोझिकोड जिले में एक परिवार को 70 वर्षीय व्यक्ति का अंतिम संस्कार करने में कठिनाई का सामना करना पड़ा।
इस बीच स्थानीय लोगों ने बताया कि जिले के मनकावु में सुबह एक पुरानी इमारत ढह गई, लेकिन इसमें कोई हताहत नहीं हुआ।
अधिकारियों ने बताया कि बारिश में कोई कमी न आने के कारण कोझिकोड जिला प्रशासन ने लोगों को जल निकायों में प्रवेश करने पर प्रतिबंध लगा दिया है, जिसमें झरना क्षेत्र भी शामिल है। रेत खनन और खदान संचालन को भी बंद करने का आदेश दिया गया है।
पड़ोसी राज्य वायनाड में जिलाधिकारी ने भारी बारिश की चेतावनी के कारण रविवार को सभी ट्यूशन सेंटर और मदरसों में अवकाश की घोषणा की।
लगातार बारिश के कारण अलप्पुझा जिले में भी सामान्य जनजीवन प्रभावित हुआ है।
इस बीच भारत मौसम विज्ञान विभाग (आईएमडी) ने शनिवार को राज्य के पांच जिलों (कासरगोड, कन्नूर, वायनाड, कोझीकोड और मलप्पुरम) में अत्यधिक भारी वर्षा की भविष्यवाणी की तथा वहां रेड अलर्ट जारी किया।
आईएमडी के नवीनतम अपडेट के अनुसार, पलक्कड़, एर्नाकुलम, त्रिशूर, इडुक्की, कोट्टायम और पथानामथिट्टा जिलों को ऑरेंज अलर्ट के तहत रखा गया है, जबकि तिरुवनंतपुरम, कोल्लम और अलपुझा में येलो अलर्ट जारी किया गया है।
भाषा
शुभम माधव
माधव