नयी दिल्ली, 16 जून (भाषा) भारत-अमेरिका के बीच प्रस्तावित व्यापार समझौते के लिए बातचीत की प्रगति अच्छी है और दोनों पक्षों के नौ जुलाई से पहले समझौते के शुरुआती चरण पर सहमत होने की उम्मीद है।
वाणिज्य सचिव सुनील बर्थवाल ने यहां संवाददाताओं से कहा, ”हम शुरुआती चरण पर काम कर रहे हैं और जैसा कि आप जानते हैं कि एक तारीख (नौ जुलाई) है, उससे पहले हम इस शुरुआती चरण को पूरा करना चाहेंगे।”
उन्होंने कहा कि भारत और अमेरिका के दल व्यापार वार्ता के लिए एक-दूसरे के देश की यात्रा कर रहे हैं। ”हमने भी दो बार अमेरिका का यात्रा किया। अमेरिकी दल भी दो बार यहां आया। अच्छी प्रगति हुई है और हमें उम्मीद है कि यह समयसीमा के भीतर पूरा हो जाएगा।”
अमेरिका ने दो अप्रैल को भारतीय वस्तुओं पर 26 प्रतिशत का अतिरिक्त जवाबी शुल्क लगाया था, लेकिन इसे 90 दिनों के लिए नौ जुलाई तक स्थगित कर दिया। हालांकि, अमेरिका द्वारा लगाया गया 10 प्रतिशत का मूल शुल्क अभी भी लागू है।
उनसे जब पूछा गया कि क्या यूएस फास्ट ट्रैक ट्रेड अथॉरिटी (जिसे ट्रेड प्रमोशन अथॉरिटी के नाम से भी जाना जाता है) के नहीं होने से भारत के साथ प्रस्तावित व्यापार समझौते में देरी हो सकती है, तो एक अधिकारी ने कहा कि यह अमेरिकी अधिकारियों पर निर्भर है कि वे भारत के साथ व्यापार समझौते के लिए अपने स्थानीय नियमों को कैसे लागू करें।
अधिकारी ने कहा कि भारत और अमेरिका 2030 तक द्विपक्षीय व्यापार को दोगुना करके 500 अरब डॉलर तक पहुंचाने का लक्ष्य बना रहे हैं, और शुल्क कम किए बिना ऐसा नहीं हो सकता।
अधिकारी ने कहा, ”दोनों देश एक-दूसरे के बाजारों में बेहतर पहुंच की तलाश कर रहे हैं।”
यूएस फास्ट ट्रैक ट्रेड अथॉरिटी एक विशेष तंत्र है, जो अमेरिकी राष्ट्रपति को व्यापार समझौतों पर बातचीत करने और उन्हें संशोधन या प्रक्रियात्मक देरी के बिना कांग्रेस के समक्ष मतदान के लिए प्रस्तुत करने की अनुमति देता है।
यूरोपीय संघ के साथ एफटीए वार्ता पर वाणिज्य विभाग में अतिरिक्त सचिव एल सत्य श्रीनिवास ने कहा कि वार्ता का अगला दौर सात जुलाई से ब्रसेल्स में होगा।
भाषा पाण्डेय रमण
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