लखनऊ, 16 जून (भाषा) उत्तर प्रदेश में पिछले 24 घंटों के दौरान अनेक इलाकों में मानसून-पूर्व बारिश होने से लोगों को भीषण गर्मी से कुछ राहत मिली।
मौसम में यह बदलाव मध्य और ऊपरी क्षोभमंडल में सक्रिय पश्चिमी विक्षोभ और निचले स्तरों पर पुरवा हवा के बीच परस्पर क्रिया के कारण हुआ है।
आंचलिक मौसम केंद्र (लखनऊ) की रिपोर्ट के मुताबिक पिछले 24 घंटों में राज्य के पश्चिमी भागों में कई स्थानों पर जबकि पूर्वी हिस्सों में कुछ जगहों पर तेज आंधी के साथ बारिश हुई। खासकर तराई क्षेत्र में भारी से बहुत भारी वर्षा हुई।
इस रिपोर्ट के अनुसार पश्चिमी उत्तर प्रदेश के बरेली जिले में सबसे अधिक 149.4 मिलीमीटर बारिश दर्ज की गयी। इसके अलावा सहारनपुर के नकुड़ इलाके में 120 मिलीमीटर बारिश हुई जबकि बिजनौर में 86 मिलीमीटर वर्षा रिकॉर्ड की गई।
पूर्वी उत्तर प्रदेश में सबसे अधिक बारिश मनकापुर (गोंडा) में 83 मिलीमीटर और शारदानगर (लखीमपुर खीरी) में 66.4 मिलीमीटर दर्ज की गयी।
रिपोर्ट के अनुसार इस व्यापक बारिश के कारण अधिकतम तापमान में खासी गिरावट आई। साथ ही पिछले कुछ हफ्तों से इस क्षेत्र में चल रही लू थम गयी।
मौसम केंद्र के वैज्ञानिकों के अनुसार वर्षा के लिए अरब सागर और बंगाल की खाड़ी पर विकसित हो रही मौसमी प्रणालियां जिम्मेदार हैं। इनकी वजह से पूरे राज्य में मानसून की सक्रियता बढ़ने की उम्मीद है। अगले चार से पांच दिनों में राज्य के अनेक हिस्सों में गरज-चमक के साथ व्यापक वर्षा होने की संभावना है।
बरेली से प्राप्त रिपोर्ट के मुताबिक जिले में रविवार रात 12 बजे से सोमवार सुबह आठ बजे तक लगातार हुई बारिश की वजह से जगह-जगह जलभराव हो गया। कई स्थानों पर तो बाढ़ जैसे हालात हो गए। बरेली-रामपुर राजमार्ग पर तीन फुट तक पानी भर गया। राजमार्ग पर दूल्हा मियां की मजार के पास स्थित चौकी सराय पर भी पानी भर गया।
जिले में तेज आंधी की वजह से जगह-जगह पेड़ गिर गए। राजमार्ग पर पानी भरने और पेड़ गिरने से यातायात प्रभावित हो गया है। कई जगहों पर सड़कों पर पानी भर गया। इस वजह से लोगों को काफी दिक्कतें उठानी पड़ीं।
बरेली के अपर जिलाधिकारी ने बताया कि बरेली में भीषण बारिश के चलते किसी प्रकार की जनहानि नहीं हुयी है। फिलहाल जिले में अभी बाढ़ की स्थिति नहीं है।
भाषा सलीम सं. राजकुमार
राजकुमार