लीड्स, 21 जून (भाषा) शुभमन गिल, ऋषभ पंत और यशस्वी जायसवाल ने पहले टेस्ट में शतक लगाकर बाईस साल पहले इसी हेडिंग्ले मैदान पर सचिन तेंदुलकर, सौरव गांगुली और राहुल द्रविड़ की पारियों की याद दिला दी जिन्होंने शतक जमाकर इंग्लैंड के गेंदबाजी आक्रमण की बखिया उधेड़ दी थी ।
उस समय तीन दिग्गजों ने भारत की शानदार जीत का मार्ग प्रशस्त किया था जबकि अगली पीढी की सितारा मौजूदा तिकड़ी ने भारत की पकड़ मजबूत कर दी है । यह इसलिये भी मायने रखता है कि भारतीय क्रिकेट अपने दो दिग्गजों रोहित शर्मा और विराट कोहली के संन्यास के बाद बदलाव के दौर से गुजर रहा है ।
उस समय 2002 में सचिन, सौरव और द्रविड़ के शतकों से भारत ने श्रृंखला ड्रॉ कराई थी और इसी से ‘घर के शेर , बाहर ढेर’ के ठप्पे के मिटने की भी शुरूआत हुई थी ।
भारत ने उस समय इंग्लैंड को एक पारी और 46 रन से हराया था । द्रविड़ ने 148, तेंदुलकर ने 193 और कप्तान गांगुली ने 128 रन बनाये थे जिसके दम पर भारत ने आठ विकेट पर 628 रन पर पारी घोषित की थी ।
संजय बांगड़ ने उस मैच में पारी की शुरूआत करते हुए 236 गेंद में 68 रन बनाये थे । वीरेंद्र सहवाग (आठ) और वीवीएस लक्ष्मण (छह) बड़ा स्कोर बनाने से चूक गए थे लेकिन गांगुली, तेंदुलकर और द्रविड़ ने इसकी कमी महसूस नहीं होने दी ।
स्पिनर हरभजन सिंह और अनिल कुंबले ने तीन तीन विकेट लिये थे जबकि जहीर खान और अजित अगरकर को दो दो विकेट मिले थे ।
इंग्लैंड की टीम पहली पारी में 273 रन पर आउट हो गई थी और फॉलोआन खेलते हुए भारी अंतर से हार टाल नहीं सकी ।
भाषा मोना सुधीर
सुधीर