नयी दिल्ली, 22 जून (भाषा) कांग्रेस के वरिष्ठ नेता जयराम रमेश ने वैश्विक स्तर पर जलवायु परिवर्तन को लेकर चिंता जताते हुए रविवार को कहा कि दुनिया को इस मुद्दे पर अब सख्त कार्रवाई करने की जरूरत है, ना कि 2050 और उसके आगे के लिए नारे लगाने की।
पूर्व पर्यावरण मंत्री ने कहा कि भारत के दो वैज्ञानिकों सहित विश्व भर के प्रतिष्ठित संस्थानों के 60 वैज्ञानिकों ने वैश्विक जलवायु परिवर्तन के संबंध में अपना तीसरा वार्षिक ‘अपडेट’ प्रकाशित किया है।
रमेश ने कहा कि यह एक व्यापक विश्लेषण है।
उन्होंने सोशल मीडिया मंच ‘एक्स’ पर एक पोस्ट में कहा, ‘‘इस विश्लेषण से पता चला है कि पिछले दशक में कार्बन डाइऑक्साइड उत्सर्जन में वृद्धि की दर 2000 के दशक की तुलना में धीमी हो गई है। लेकिन वैश्विक स्तर पर औसत समुद्र स्तर में वृद्धि जारी है।’’
कांग्रेस नेता ने कहा, ‘‘पृथ्वी का ऊर्जा असंतुलन काफी बढ़ गया है। यह एक ओर जलवायु को गर्म करने तथा दूसरी ओर जलवायु परिवर्तन के खिलाफ कार्य करने वाले विकिरण बलों के बीच अंतर को दर्शाता है।’’
रमेश ने कहा कि सबसे अधिक चिंता की बात यह है कि यदि सभी ग्रीनहाउस गैसों का उत्सर्जन वर्तमान स्तर पर जारी रहा तो मानव-जनित वैश्विक तापमान लगभग पांच वर्षों में 1.5 डिग्री सेल्सियस तक पहुंच जाएगा।
उन्होंने कहा कि अमेरिका की वर्तमान नीतियां इसे और आगे ले जा सकती हैं तथा कहा कि 2024 पहले से ही अब तक का सबसे गर्म वर्ष है।
रमेश ने कहा, ‘‘दुनिया को अब कठोर कार्रवाई की जरूरत है न कि 2050 और उसके आगे के लिए बड़े-बड़े नारे लगाने की है।’’
उन्होंने उक्त विश्लेषण का लिंक भी साझा किया है।
भाषा प्रीति संतोष
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