(सज्जाद हुसैन)
इस्लामाबाद, 23 जून (भाषा) पाकिस्तान के शीर्ष सुरक्षा निकाय ने ईरान में अमेरिकी हमलों के बाद इजराइल-ईरान संघर्ष में और वृद्धि की आशंका पर सोमवार को चिंता जताई तथा इस बात पर अफसोस जाहिर किया कि यह हमले तब हुए जब तेहरान और वाशिंगटन के बीच रचनात्मक वार्ता प्रक्रिया में थी।
राष्ट्रीय सुरक्षा समिति (एनएससी) ने ईरान में अमेरिकी हवाई हमले के बाद क्षेत्रीय स्थिति पर चर्चा करने के लिए यहां बैठक की और इस्लामी राष्ट्र के आत्मरक्षा के अधिकार का समर्थन किया।
प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ की अध्यक्षता में हुई बैठक में सेना प्रमुख फील्ड मार्शल आसिम मुनीर सहित शीर्ष असैन्य और सैन्य नेतृत्व ने शिरकत की।
एक बयान में कहा गया, “ समिति ने इजराइल के आक्रामक कृत्यों की कड़ी निंदा की और इस बात पर अफसोस जाहिर किया कि यह हमले तब हुए जब तेहरान और वाशिंगटन के बीच रचनात्मक वार्ता प्रक्रिया में थी।”
इन लापरवाह कृत्यों ने तनाव को बढ़ा दिया है, जिससे व्यापक संघर्ष भड़कने का खतरा है और संवाद और कूटनीति के मौके कम हो रहे हैं।
बयान में कहा गया है, ‘एनएससी ने संयुक्त राष्ट्र चार्टर में निहित ईरान के आत्मरक्षा के अधिकार की फिर से पुष्टि की।’
पाकिस्तान की घोषित स्थिति को दोहराते हुए, एनएससी ने रविवार को फोर्दो, नतांज और इस्फ़हान में ईरानी परमाणु केंद्रों पर हुए हमलों के बाद तनाव में आगे और अधिक वृद्धि की आशंका पर गंभीर चिंता व्यक्त की। उसने कहा कि यह अंतरराष्ट्रीय परमाणु ऊर्जा एजेंसी (आईएईए), प्रासंगिक अंतरराष्ट्रीय कानून और संयुक्त राष्ट्र चार्टर के प्रस्तावों का उल्लंघन है।
पाकिस्तान ने सभी संबंधित पक्षों से संयुक्त राष्ट्र चार्टर के अनुरूप बातचीत और कूटनीति के माध्यम से संघर्ष को हल करने का आह्वान किया, तथा अंतरराष्ट्रीय मानवाधिकारों और मानवीय कानूनों का पालन करने की जरूरत पर जोर दिया।
इससे पहले, सूत्रों ने बताया था कि हाल में अमेरिका की यात्रा से लौटे मुनीर समिति को अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के साथ अपनी बैठक के विवरण से अवगत कराएंगे।
भाषा नोमान प्रशांत
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