अगरतला, दो जून (भाषा) युवा टिपरा फेडरेशन (वाईटीएफ) के हजारों कार्यकर्ताओं ने सोमवार को गोमती जिले के जिलाधिकारी (डीएम) के कार्यालय के सामने विरोध प्रदर्शन किया और पार्टी सुप्रीमो प्रद्योत किशोर माणिक्य देबबर्मा के प्रति कथित रूप से अनादर दिखाने के लिए उनके खिलाफ कार्रवाई की मांग की।
वाईटीएफ टिपरा मोथा पार्टी की युवा इकाई है।
गोमती जिले के जिलाधिकारी तारित कांति चकमा ने 25 मई की रात को टिपरा मोथा सुप्रीमो प्रद्योत किशोर माणिक्य से मिलने से इनकार कर दिया था, जिसके बाद यह विवाद शुरू हो गया।
उस रात माणिक्य के साथ त्रिपुरा जनजातीय क्षेत्र स्वायत्त जिला परिषद (टीटीएएडीसी) के प्रमुख पूर्ण चंद्र जमातिया भी थे।
इस घटनाक्रम को गंभीरता से लेते हुए उद्योग एवं वाणिज्य राज्य मंत्री बृषकेतु देबबर्मा के नेतृत्व में टिपरा मोथा के एक प्रतिनिधिमंडल ने मुख्यमंत्री माणिक साहा से मुलाकात की और जिलाधिकारी के खिलाफ कार्रवाई की मांग की।
मुख्यमंत्री ने प्रदेश के मुख्य सचिव जे के सिन्हा से मामले की जांच करने को कहा है।
सोमवार को सुबह करीब 10 बजे गोमती जिले में जिलाधिकारी कार्यालय के सामने करीब दो हजार वाईटीएफ कार्यकर्ता एकत्र हुए। भारी बारिश के बावजूद उन्होंने जिलाधिकारी के खिलाफ कार्रवाई की मांग को लेकर प्रदर्शन किया।
उदयपुर के उप-विभागीय पुलिस अधिकारी (एसडीपीओ) निर्माण दास ने संवाददाताओं को बताया, ‘‘टिपरा मोथा के युवा संगठन के समर्थक आज जिला मजिस्ट्रेट कार्यालय के गेट के सामने प्रदर्शन करने के लिए एकत्र हुए। वाईटीएफ अध्यक्ष सूरज देबबर्मा के नेतृत्व में नेताओं के एक समूह को जिलाधिकारी कार्यालय परिसर में प्रवेश करने की अनुमति दी गई। उन्होंने मुख्य प्रवेश द्वार पर ताला लगा दिया। यह एक प्रतीकात्मक विरोध था।’’
उन्होंने बताया कि जिलाधिकारी कार्यालय में अधिकारी और कर्मचारी सामान्य रूप से काम कर रहे थे और कानून-व्यवस्था की कोई समस्या नहीं थी, लेकिन कार्यालय के अंदर और आसपास लोगों का जमावड़ा लगा हुआ था।
उन्होंने बताया कि किसी भी तरह की परेशानी से बचने के लिए डीएम कार्यालय के अंदर और आसपास अतिरिक्त बल तैनात किया गया है।
भाषा रंजन रंजन मनीषा
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