मुंबई, छह जून (भाषा) महाराष्ट्र के मंत्री अशोक उइके ने शुक्रवार को कहा कि अनुसूचित जनजातियों (एसटी) के लिए प्रस्तावित राज्य स्तरीय आयोग से 1.35 करोड़ से अधिक आदिवासी आबादी को लाभ होगा क्योंकि यह समुदाय के सदस्यों के सामने आने वाले विभिन्न मुद्दों के समाधान में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगा।
राज्य मंत्रिमंडल ने इस सप्ताह के शुरू में केन्द्रीय निकाय की तर्ज पर अनुसूचित जनजातियों के लिए आयोग की स्थापना को मंजूरी दी थी।
उइके ने यहां संवाददाताओं से कहा, “आयोग राज्य के 1.35 करोड़ आदिवासियों से सीधा संवाद स्थापित कर सकेगा। मैं इस महत्वपूर्ण कदम के लिए मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस और उपमुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे और अजित पवार को धन्यवाद देता हूं।”
जनजातीय विकास मंत्री ने कहा कि आयोग में एक अध्यक्ष और चार गैर-सरकारी सदस्यों के साथ-साथ विभिन्न विभागों के 26 अधिकारी शामिल होंगे। राज्य मंत्रिमंडल ने इसके संचालन के लिए अलग से बजट बनाने के प्रस्ताव को भी मंजूरी दे दी है।
उन्होंने कहा, “महाराष्ट्र अनुसूचित जनजाति आयोग के प्रभावी कार्यान्वयन के लिए सकारात्मक कदम उठा रहा है, जो आदिवासी समुदायों के बीच स्वास्थ्य, शिक्षा और विस्थापन से संबंधित मुद्दों के समाधान में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगा।”
मंत्री के अनुसार, आयोग जनजातीय आबादी और राज्य सरकार के बीच सेतु का काम करेगा और निर्देश जारी करने का अधिकार रखेगा।
उन्होंने कहा, “इससे यह सुनिश्चित होगा कि आदिवासी लोगों की आवाज सुनी जाए। इससे समुदाय को काफी लाभ होगा।”
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प्रशांत पवनेश
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