नयी दिल्ली, एक जुलाई (भाषा) कांग्रेस ने महाराष्ट्र के पूर्व मुख्यमंत्री पृथ्वीराज चव्हाण की अध्यक्षता में एक समिति गठित की है, जो पिछले साल हुए राज्य विधानसभा चुनाव में कथित ‘‘अनियमितता’’ का विस्तृत विश्लेषण करेगी और चुनावी प्रक्रिया को साफ-सुथरा बनाने को लेकर सिफारिश करेगी।
महाराष्ट्र प्रदेश कांग्रेस कमेटी के वरिष्ठ नेताओं की सोमवार को यहां बैठक हुई, जिसमें महाराष्ट्र विधानसभा से जुड़े मुद्दों पर विस्तार से चर्चा की गई।
चव्हाण ने ‘पीटीआई-भाषा’ को दिए साक्षात्कार में दावा किया कि कराड दक्षिण सहित महाराष्ट्र के कई निर्वाचन क्षेत्रों में बहुत सारे मतदाताओं ने एक से अधिक बार मतदान किया तथा अंगुली पर लगने वाली स्याही मिटाकर मतदान किए गए।
वह इस बार कराड दक्षिण विधानसभा क्षेत्र से चुनाव हार गए।
उन्होंने कहा कि इस विधानसभा क्षेत्र में हजारों ऐसे मतदाताओं के नाम मतदाता सूची में थे, जो अलग-अलग बूथ पर पंजीकृत थे।
चव्हाण के अनुसार, महा विकास आघाडी (एमवीए) के लगभग 100 नेताओं ने चुनाव याचिकाएं दायर की हैं और उनके नेतृत्व वाली समिति ने कांग्रेस नेतृत्व से उनकी सहायता के लिए दिल्ली से एक कानूनी टीम भेजने का आग्रह किया है।
उन्होंने कहा, ‘कल एक बड़ी बैठक हुई थी, जहां महाराष्ट्र से कांग्रेस के कई वरिष्ठ नेता दिल्ली आए थे। बैठक के बाद, हमने कई अन्य बैठकें कीं, हमने कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे से भी मुलाकात की।’’
उनके अनुसार, बैठक में मतदान से सभी अनियमितताओं सहित कई मुद्दों पर चर्चा हुई, जिसे राहुल गांधी ने प्रमुखता से उठाया है।
चव्हाण ने कहा, ‘‘पार्टी ने कुछ निर्णय लिए हैं और एक समिति का गठन किया है, जिसकी अध्यक्षता मैं करूंगा और आगे की रणनीति पर विचार-विमर्श करूंगा, ताकि ये अनियमितताएं जारी न रहें। विचार यह था कि लोगों के सामने तथ्य रखे जाएं और फिर निर्वाचन आयोग को सिस्टम बदलने पर निर्णय लेना है।’’
कांग्रेस नेता ने कहा कि एमवीए के लगभग 100 उम्मीदवारों ने चुनाव याचिकाएं दायर की हैं, लेकिन इतिहास ऐसा रहा है कि ऐसी याचिकाओं से कुछ भी सामने नहीं आता है और पांच साल बीत जाते हैं।
चव्हाण ने कहा, ‘‘इसलिए हम चुनाव के नतीजों में किसी बदलाव की उम्मीद नहीं कर रहे हैं। लेकिन हम प्रक्रिया में सुधार करना चाहते हैं, ताकि इसमें हेरफेर और धोखाधड़ी की संभावना कम हो। हमें ऐसा करना चाहिए, अन्यथा यह एक दिखावटी लोकतंत्र होगा।’’
उन्होंने कहा कि समिति के एजेंडे में से एक बिंदु मत पत्र है और समिति लोगों से बात करेगी तथा इस पर सिफारिश करेगी।
उन्होंने कहा कि पहले दो विधानसभा चुनावों के बीच पांच साल में कुल 31 लाख मतदाता जुड़े, जो हर महीने लगभग 50,000 की संख्या है।
पूर्व मुख्यमंत्री ने कहा, ‘‘पिछले साल लोकसभा चुनाव और विधानसभा चुनाव के बीच के साढ़े चार-पांच महीनों में 41 लाख मतदाता जुड़ गए, जो प्रति माह लगभग 9-10 लाख की संख्या है।’’
उन्होंने सवाल किया कि ये मतदाता कौन हैं?
चव्हाण ने दावा किया, ‘‘जानबूझकर कई मतदाताओं के नाम मतदाता सूची में शामिल करने अनुमति दी गई और निर्वाचन आयोग ने आंखें मूंद लीं। गृह मंत्री अमित शाह ने भी आह्वान किया कि हर बूथ पर 10 प्रतिशत मतदान बढ़ाया जाए।’’
उन्होंने कहा कि समिति सिफारिशें करेगी और पार्टी अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे को एक रिपोर्ट सौंपेगी।
निर्वाचन आयोग ने महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव में अनिमियतता से जुड़े आरोपों को खारिज किया है।
भाषा हक हक दिलीप
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