आइजोल, एक जुलाई (भाषा) मिजोरम में एक परिवहन संघ ने ही राष्ट्रीय राजमार्ग 306/06 के जर्जर हिस्से की मरम्मत शुरू कर दी, जिसके कारण आवश्यक वस्तुओं को ले जाने वाले टैंकर और ट्रकों का आवागमन बंद हो गया है और यहां ईंधन का संकट पैदा हो गया है।
मिजोरम की जीवन रेखा एनएच- 306 राज्य को असम से जोड़ती है और राजमार्ग के एक हिस्से को एनएच-6 कहा जाता है।
अधिकारियों ने बताया कि मिजोरम टिपर एसोसिएशन (एमटीए) के तत्वावधान में ट्रक चालकों द्वारा राष्ट्रीय राजमार्ग-6/306 के जर्जर सैरांग-कॉनपुई खंड की मरम्मत की जा रही है, जिससे 26 जून से वाहनों की आवाजाही बाधित हो गई है।
अधिकारियों ने बताया कि मंगलवार को छठे दिन भी इसे तेल टैंकरों और मालवाहक वाहनों के लिए बंद रखा गया है।
राज्य के खाद्य, नागरिक आपूर्ति एवं उपभोक्ता मामलों के निदेशक सैजिकपुई ने कहा कि आवश्यक वस्तुओं से लदे ट्रकों को छोड़ने के लिए एमटीए से की गई सख्त अपील के बाद मंगलवार को कुछ तेल टैंकर और एलपीजी गैस से लदे ट्रक आइजोल की ओर बढ़ने लगे।
उन्होंने वर्तमान में हो रही तेल की कमी के अगले कुछ दिनों में हल हो जाने की आशा व्यक्त की।
सैज़िकपुई ने कहा कि पेट्रोल और डीजल के अलावा अन्य आवश्यक वस्तुओं की भारी कमी की कोई शिकायत नहीं है।
अन्य राज्यों से सभी आपूर्तियां इसी राजमार्ग के माध्यम से मिजोरम पहुंचती हैं।
‘पीटीआई-भाषा’ के संवाददाता ने बताया कि राज्य की राजधानी आइजोल के लगभग सभी पेट्रोल पंपों पर मंगलवार को स्टॉक खत्म हो गया, जबकि कुछ पेट्रोल पंपों पर सरकार द्वारा जारी कूपन के आधार पर पेट्रोल और डीजल बेचा जा रहा था।
‘मिजोरम ट्रांसफॉर्मेशन मूवमेंट’, ‘सेंटर फॉर एनवायरनमेंट एंड सोशल जस्टिस’, ‘मिजोरम फर्स्ट’ और ‘सिटिजन अलायंस फॉर ट्रुथ एंड जस्टिस’ इन चारों संगठनों ने कहा कि अगर सरकार समय रहते इस जर्जर सड़क की मरम्मत नहीं कराती है, तो लोग सामुदायिक सेवा के माध्यम से इसकी मरम्मत करने के लिए बाध्य होंगे।
लोक निर्माण विभाग (पीडब्ल्यूडी) के मंत्री वानलालथलाना ने सोमवार को कहा कि खमरंग-कावनपुई सेक्टर राज्य सरकार के नियंत्रण में नहीं है।
उन्होंने कहा कि सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्रालय (एमओआरटीएच) ने 2020 में इसे राष्ट्रीय राजमार्ग और बुनियादी अवसंरचना विकास निगम लिमिटेड (एनएचआईडीसीएल) को सौंप दिया।
भाषा यासिर दिलीप
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