नयी दिल्ली, सात जुलाई (भाषा) मध्यप्रदेश के दमोह स्थित एक अस्पताल में फर्जी हृदय रोग विशेषज्ञ के काम करने के मामले में राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग (एनएचआरसी) की जांच में ‘‘कई अनियमितताएं’’ पायी गयी हैं। अधिकारियों ने सोमवार को यह जानकारी दी।
एनएचआरसी ने मध्यप्रदेश सरकार को यह सिफारिश भी की है कि मिशन अस्पताल में फर्जी चिकित्सक द्वारा किये गए इलाज के बाद मरने वाले सभी सात मरीजों के परिजनों को 10-10 लाख रुपये की सहायता राशि दी जाए।
एनएचआरसी ने एक बयान में कहा कि मानवाधिकार आयोग ने 28 मार्च को एक शिकायत के आधार पर मामला दर्ज किया था और जांच के अलावा राज्य के अधिकारियों से मामले पर रिपोर्ट भी मांगी थी।
आयोग ने कहा कि अपनी जांच में उसे मध्यप्रदेश के दमोह स्थित मिशन अस्पताल में हृदय रोग विशेषज्ञ के रूप में काम कर रहे एक फर्जी चिकित्सक के मामले में कई अनियमितताएं मिली हैं। तदनुसार, इसने मध्यप्रदेश सरकार और केंद्र को कई सिफारिशें की हैं और चार सप्ताह के भीतर कार्रवाई रिपोर्ट मांगी है।
आयोग ने मामले के अंतिम निपटारे तक मिशन अस्पताल का लाइसेंस रद्द करने की भी सिफारिश की है।
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