नयी दिल्ली, आठ जुलाई (भाषा) दिल्ली उच्च न्यायालय में एक अर्जी दायर कर राजधानी के करोल बाग इलाके में चार जुलाई को एक स्टोर में लगी आग की अदालत की निगरानी में जांच का अनुरोध किया गया है। आग की घटना में दो लोगों की मौत हो गई थी।
गैर सरकारी संगठन कुटुंब द्वारा दायर अर्जी में विशाल मेगा मार्ट के प्रबंधन, दिल्ली पुलिस, अग्निशमन सेवाओं और दिल्ली नगर निगम (एमसीडी) की ओर से लापरवाही का आरोप लगाया गया है।
जुलाई 2024 में ओल्ड राजेंद्र नगर में एक कोचिंग सेंटर के बेसमेंट में पानी भरने के कारण तीन छात्रों की मौत से संबंधित एक मामले पर पहले से सुनवाई चल रही है। संबंधित मामले में यह अर्जी भी दायर की गई है।
अर्जी में सुरक्षा नियमों को लागू कराने में गंभीर खामियों को चिह्नित किया गया है तथा अनिवार्य मानदंडों का पालन किए बिना भीड़भाड़ वाले क्षेत्रों में संचालित वाणिज्यिक प्रतिष्ठानों को लाइसेंस और अनापत्ति प्रमाण पत्र जारी करने पर सवाल उठाया गया है।
अर्जी में सुरक्षा प्रोटोकॉल लागू करने में विफल रहने के लिए एमसीडी, अग्निशमन सेवाओं और पुलिस अधिकारियों के आचरण की जांच के लिए अदालत से निर्देश देने का भी अनुरोध किया गया।
अर्जी में यह भी पता लगाने के लिए निर्देश देने का अनुरोध किया गया कि विशाल मेगा मार्ट और आसपास की व्यावसायिक इकाइयों के पास वैध एनओसी है या नहीं तथा अवैध रूप से काम कर रही इकाइयों का पता लगाया जाए।
अर्जी में वस्तु स्थिति रिपोर्ट दाखिल होने तक करोल बाग और आसपास के इलाकों में बिना लाइसेंस वाले शॉपिंग सेंटर, रेस्तरां, कोचिंग संस्थान और ऐसे अन्य प्रतिष्ठानों को तत्काल बंद करने का अनुरोध किया गया है।
मध्य दिल्ली के करोल बाग इलाके में चार जुलाई को विशाल मेगा मार्ट में आग लगने से दो लोगों की मौत हो गई।
भाषा आशीष दिलीप
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