कोच्चि, आठ जुलाई (भाषा) उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ की हालिया यात्रा के दौरान उनके लिए भोजन की जांच करने के वास्ते केरल के स्वास्थ्य विभाग द्वारा तीन डॉक्टरों को नियुक्त किए जाने के आदेश से गुस्सा भड़क गया है। चिकित्सकों का कहना है कि वे इस काम के लिए प्रशिक्षित नहीं हैं।
डॉक्टरों में से एक को खाद्य सुरक्षा अधिकारियों, पुलिस और स्वास्थ्य अधिकारियों के साथ खानपान फर्म तथा गेस्ट हाउस में जाना पड़ा, जहां उपराष्ट्रपति रुके थे।
केरल सरकार चिकित्सा अधिकारी संघ (केजीएमओए) ने कहा कि वह इस मामले पर एक ज्ञापन प्रस्तुत करने की योजना बना रहा है, जिसमें पूछा जाएगा कि डॉक्टरों को खाद्य परीक्षण अधिकारी के रूप में कैसे नियुक्त किया जा सकता है, जबकि उनके पास इस क्षेत्र में कोई विशेषज्ञता नहीं है।
संघ ने कहा कि अगर समस्या का समाधान नहीं हुआ, तो वह इस कदम के खिलाफ प्रदर्शन कर सकता है।
केजीएमओए के एर्नाकुलम जिला अध्यक्ष डॉ. टी सुधाकर ने ‘पीटीआई-भाषा’ से कहा, ‘‘हमें परीक्षण के बाद खाद्य एवं सुरक्षा टीम के निष्कर्षों को प्रमाणित करने के लिए कहा गया और बताया गया कि केवल उपराष्ट्रपति की सुरक्षा टीम द्वारा ही निष्कर्षों को स्वीकार किया जाएगा।’’
मौजूदा मानदंडों के अनुसार, खाद्य नमूनों का परीक्षण खाद्य सुरक्षा विभाग के कर्मचारियों द्वारा किया जाता है, क्योंकि उन्हें इस कार्य के लिए प्रशिक्षित किया जाता है।
सूत्रों के मुताबिक, डॉक्टरों के पास खाद्य नमूनों की जांच करने या उन्हें सुरक्षित के रूप में प्रमाणित करने के लिए कोई पेशेवर योग्यता नहीं होती।
भाषा नेत्रपाल पारुल
पारुल