शिमला, 12 जुलाई (भाषा) मंडी जिले में 30 जून और एक जुलाई की मध्य रात्रि को बादल फटने की घटना में अपने परिजनों को खोने वाली 10 महीने की बच्ची नीतिका के पालन-पोषण की जिम्मेदारी उसकी बुआ ने ली है। अधिकारियों ने शनिवार को यह जानकारी दी।
बल्ह की उप-मंडल मजिस्ट्रेट समृतिका नेगी ने बताया कि देश-विदेश से कई लोगों ने नीतिका को गोद लेने की इच्छा जताई थी, लेकिन नीतिका के पिता की बहन ने उसे देखरेख के लिए लिया है।
अधिकारियों ने बताया कि नीतिका की बुआ तारा देवी ने उसे अपनी ‘बेटी’ बताया और उसे किसी और को गोद देने के किसी भी विकल्प से इनकार कर दिया।
जब बादल फटा,तब बच्ची के पिता रमेश कुमार (31) अपने घर में घुस रहे पानी के बहाव को रोकने की कोशिश कर रहे थे। बाद में उनका शव मलबे में मिला। नीतिका की मां राधा देवी (24) और दादी पूर्णु देवी (59) रमेश की तलाश में निकलीं, लेकिन अभी तक उनका पता नहीं चल पाया है।
उनके पड़ोसी प्रेम सिंह ने रोती हुई बच्ची को अकेले देखा और उसे रमेश के चचेरे भाई बलवंत के पास ले गए। बलवंत पूर्व मुख्यमंत्री और विपक्ष के नेता जयराम ठाकुर के निजी सुरक्षा अधिकारी हैं।
उप-विभागीय मजिस्ट्रेट के पास इस त्रासदी के बारे में सुनने के बाद मदद के लिए लोगों के कई फोन आए। उन्होंने नीतिका के नाम पर एक बैंक खाता खोलने की पहल की।
नेगी ने आगे बताया कि नीतिका के लिए हिमाचल को-ऑपरेटिव और पंजाब नेशनल बैंक में दो बैंक खाते खोले गए हैं। इन खातों में जमा धनराशि उसकी शिक्षा के लिए सुरक्षित रखी जाएगी, जिसका उपयोग वह 18 साल की होने पर कर सकेगी।
अधिकारियों ने बताया कि फिलहाल नीतिका अपने रिश्तेदारों के पास है और सरकारी एजेंसियां उसकी सलामती सुनिश्चित करने के लिए हर संभव प्रयास कर रही हैं।
ठाकुर शनिवार को नीतिका के घर गए और उसका हालचाल जाना। उन्होंने बताया कि एक एनजीओ ने उसकी शिक्षा की जिम्मेदारी लेने का प्रस्ताव रखा है और बच्ची का परिवार ही इस मामले में अंतिम फैसला लेगा।
भाषा
शुभम माधव
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