चेन्नई, 15 जुलाई (भाषा) कभी एमडीएमके प्रमुख वाइको के भरोसेमंद रहे लेकिन अब हाशिये पर किए जा चुके मल्लई सत्या ने कहा है कि उन्हें अपनी पार्टी के नेता पर बहुत भरोसा है, लेकिन उनके द्वारा ‘गद्दार’ कहे जाने के बजाय वह जहर पीना पसंद करेंगे।
उन्होंने दावा किया कि और किसी निष्ठावान कार्यकर्ता को इस तरह के ‘निराधार आरोपों’ से अपमानित नहीं किया जाए, (जितना उन्हें किया गया) तथा यह सार्वजनिक जीवन में वाइको के कद के अनुरूप नहीं है।
सत्या ने कहा, ‘‘मैं एमडीएमके की विचारधारा के प्रति प्रतिबद्धता की भावना के साथ उसके लिए काम करता रहा हूं। पार्टी में असामान्य घटनाक्रमों का कारण मैं नहीं हूं।’’
उन्होंने वाइको पर जानबूझकर उनका राजनीतिक करियर खत्म करने का प्रयास करने का आरोप लगाया।
सोमवार को ‘अपनी चुप्पी तोड़ते हुए’ शीर्षक से जारी किये गये कड़े शब्दों वाले एक बयान में उन्होंने कहा कि पार्टी नेता कोई और कारण बता सकते थे।
सत्या ने कहा, ‘‘लेकिन अपने बेटे की खातिर मेरे ईमानदार राजनीतिक जीवन की बलि देना और इसे ‘‘विश्वासघात’’ कहना – आपके ये शब्द मुझे बहुत आहत करते हैं।’’
उन्होंने कहा, ‘‘वह (वाइको) मुझसे कुछ और कह सकते थे या मुझे जहर की बोतल लेकर मर जाने को कह सकते थे। मैं मर जाता। इसके बजाय, उन्होंने ऐसी टिप्पणी की, जिसने मुझे गहरा घाव दिया है।’’
वाइको ने 10 जुलाई को पार्टी के उप महासचिव मल्लई सी ई सत्या पर दो साल से पार्टी विरोधी गतिविधियों में लिप्त होने का आरोप लगाया था। वाइको ने यहां हवाई अड्डे पर संवाददाताओं से कहा था, ‘‘उनके (सत्या के) उन लोगों से घनिष्ठ संबंध हैं जो पार्टी छोड़कर चले गये हैं और मेरी आलोचना करते हैं। चार लोग सोशल मीडिया पर मेरे खिलाफ पोस्ट कर रहे हैं और वे विदेश में रह रहे हैं। मल्लई सत्या उन्हें सामग्री उपलब्ध कराते हैं।’’
तीन दशकों तक वाइको के साथ रहे सत्या ने कहा कि उन्हें इस बात से बहुत दुख हुआ कि उन पर वाइको के साथ वैसा ही विश्वासघात करने का आरोप लगाया गया जैसा मथैया ने लिट्टे नेता प्रभाकरण के साथ किया था।
उन्होंने कहा कि उनके राजनीतिक मतभेदों को विश्वासघात बताना अनुचित है।
भाषा राजकुमार मनीषा
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