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Tuesday, July 15, 2025

राकांपा ने केरल के अपने विधायकों से इस्तीफा देने को कहा, प्रदेश इकाई ने निर्देश की अनदेखी की

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तिरुवनंतपुरम, 15 जुलाई (भाषा) राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (राकांपा) के राष्ट्रीय कार्यकारी अध्यक्ष प्रफुल्ल पटेल ने पार्टी विरोधी गतिविधियों में लिप्त रहने के आरोप में केरल में पार्टी के दो विधायकों को पत्र लिखकर उन्हें इस्तीफा देने के लिए कहा है।

वन मंत्री ए. के. ससींद्रन और पार्टी की केरल इकाई के अध्यक्ष थॉमस के. थॉमस सहित राकांपा के दो विधायाक वर्तमान में शरद पवार के नेतृत्व वाले राकांपा (एसपी) गुट से जुड़े हुए हैं और पार्टी सत्तारूढ़ लेफ्ट डेमोक्रेटिक फ्रंट (एलडीएफ) की एक घटक है।

थॉमस को लिखे पत्र में पटेल ने कहा कि ये विधायक 2021 में राकांपा के ‘घड़ी’ चिह्न पर चुनाव लड़कर विधानसभा के लिए चुने गए थे और अब पार्टी के खिलाफ काम कर रहे हैं।

पत्र चार जुलाई को लिखा गया था और मंगलवार को प्रकाशित हुआ।

पत्र में कहा गया है कि थॉमस को पार्टी से छह साल के लिए निलंबित कर दिया गया है और उन्हें एक सप्ताह के भीतर अपने पद से इस्तीफा देने या जनप्रतिनिधित्व अधिनियम और दलबदल विरोधी कानून के प्रावधानों के तहत अयोग्य घोषित किए जाने की कार्रवाई का सामना करने का निर्देश दिया गया है।

पार्टी सूत्रों ने बताया कि राकांपा के कार्यकारी अध्यक्ष ने वन मंत्री ए. के. ससींद्रन को भी ऐसा ही एक पत्र भेजा है।

थॉमस ने पत्रकारों से कहा कि राकांपा की केरल इकाई शुरू से ही शरद पवार को अपना नेता मानकर काम कर रही है। उन्होंने कहा, ‘‘हम इस पत्र को नजरअंदाज करेंगे क्योंकि हमारा प्रफुल्ल पटेल की पार्टी से कोई संबंध नहीं है।’’

दलबदल विरोधी कानून लागू करने की धमकी के बारे में पूछे जाने पर उन्होंने कहा कि इस पर राज्य विधानसभा अध्यक्ष को फैसला लेना है।

पत्र पर प्रतिक्रिया देते हुए राज्य के वन मंत्री ए. के. ससीन्द्रन ने भी कहा कि पटेल के पत्र पर पार्टी की राज्य इकाई विचार नहीं करेगी, जो हमेशा से पार्टी के संविधान के अनुसार काम करती रही है।

सत्तारूढ़ एलडीएफ को पहले से ही मोर्चे के एक अन्य सहयोगी जनता दल (सेक्युलर) के कारण परेशानी का सामना करना पड़ रहा है, जिसके विधानसभा में दो सदस्य हैं, और राज्य के बिजली मंत्री के. कृष्णन कुट्टी जद (एस) से ही हैं।

एच. डी. देवेगौड़ा के नेतृत्व वाली जद (एस) वर्तमान में केंद्र में राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (राजग) की सहयोगी है और विधानसभा में विपक्ष के नेता वी. डी. सतीसन ने एलडीएफ में पार्टी के बने रहने पर सवाल उठाया था।

भाषा सुरभि मनीषा

मनीषा

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