नयी दिल्ली, 17 जुलाई (भाषा) केंद्रीय माध्यमिक शिक्षा बोर्ड (सीबीएसई) ने स्कूलों से ‘ऑयल बोर्ड’ स्थापित करने को कहा है ताकि छात्रों और कर्मचारियों को उच्च वसा वाले खाद्य पदार्थों और तेलों के सेवन के हानिकारक प्रभावों के बारे में शिक्षित किया जा सके और स्वस्थ भोजन की आदतों को बढ़ावा दिया जा सके। अधिकारियों ने यह जानकारी दी।
यह निर्देश बोर्ड द्वारा स्कूलों को बच्चों के चीनी सेवन पर निगरानी रखने और उसे कम करने के लिए ‘शुगर बोर्ड’ स्थापित करने के निर्देश देने के लगभग दो महीने बाद आया है।
‘ऑयल बोर्ड’ से तात्पर्य स्कूल के भीतर कैफेटेरिया, परिसर और बैठक कक्ष जैसे साझा स्थानों में लगाए जाने वाले पोस्टर या डिजिटल डिस्प्ले से है।
इन बोर्ड का उद्देश्य छात्रों और कर्मचारियों को उच्च वसा वाले खाद्य पदार्थों और तेलों के सेवन के हानिकारक प्रभावों के बारे में शिक्षित करना है ताकि रोजाना ‘ऑयल बोर्ड’ देखकर स्वस्थ खान-पान की आदतों को बढ़ावा दिया जा सके।
सीबीएसई की निदेशक (अकादमिक) प्रज्ञा एम. सिंह ने कहा, ‘‘आंकड़ों से पता चलता है कि वयस्कों और बच्चों दोनों में मोटापे की समस्या बढ़ रही है। राष्ट्रीय परिवार स्वास्थ्य सर्वेक्षण-5 (एनएफएचएस-5), 2019-21 के अनुसार, शहरी क्षेत्रों में पांच में से एक वयस्क अधिक वजन या मोटापे से ग्रस्त है।’’
सिंह ने कहा, ‘‘बचपन में मोटापे की समस्या मुख्यतः आहार संबंधी खराब आदतों और कम शारीरिक गतिविधियों के कारण होती है।’’
भाषा शफीक रंजन
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