(के जे एम वर्मा)
बीजिंग, 18 जुलाई (भाषा) चीन ने शुक्रवार को विभिन्न देशों से क्षेत्रीय सुरक्षा के लिए आतंकवाद का मुकाबला करने के वास्ते सहयोग बढ़ाने का आह्वान किया।
अमेरिका ने पाकिस्तान के आतंकवादी संगठन लश्कर-ए-तैयबा के मुखौटा संगठन ‘द रेजिस्टेंस फ्रंट’ (टीआरएफ) को वैश्विक आतंकवादी संगठन घोषित किया है, जिसने जम्मू कश्मीर के पहलगाम में हुए आतंकवादी हमले की जिम्मेदारी ली थी। इस घटनाक्रम के बाद चीन ने यह बयान दिया है।
विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता लिन जियान ने शुक्रवार को यहां प्रेस वार्ता में कहा, ‘‘चीन सभी प्रकार के आतंकवाद का दृढ़ता से विरोध करता है और 22 अप्रैल को हुए आतंकवादी हमले की कड़ी निंदा करता है।’’
उनसे अमेरिकी विदेश विभाग द्वारा टीआरएफ को वैश्विक आतंकवादी संगठन घोषित करने के बारे में पूछा गया था।
उन्होंने कहा, ‘‘चीन विभिन्न देशों से आतंकवाद रोधी सहयोग बढ़ाने और संयुक्त रूप से क्षेत्रीय सुरक्षा एवं स्थिरता बनाए रखने का आह्वान करता है।’’
इससे पहले, एक बयान में अमेरिका के विदेश मंत्री मार्को रुबियो ने कहा कि यह कार्रवाई पहलगाम हमला मामले में न्याय संबंधी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के रुख पर अमल की अमेरिका की प्रतिबद्धता को दर्शाती है।
कई पाकिस्तानी आतंकवादी समूह और व्यक्ति संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद की 1267 प्रतिबंध व्यवस्था के अंतर्गत सूचीबद्ध हैं। इनमें लश्कर-ए-तैयबा, जैश-ए-मोहम्मद और जमात-उद-दावा आतंकवादी संगठनों के साथ-साथ हाफिज सईद और मसूद अजहर जैसे आतंकवादी भी शामिल हैं।
पहलगाम हमले के बाद, संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद ने 25 अप्रैल को एक बयान जारी कर हमले की निंदा की थी, लेकिन पाकिस्तान और चीन की आपत्तियों के बाद टीआरएफ और लश्कर-ए-तैयबा का उल्लेख बयान से हटा दिया गया।
जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में 22 अप्रैल को हुए हमले में 26 लोग मारे गए थे। ‘द रेजिस्टेंस फ्रंट’ (टीआरएफ) ने इस हमले की जिम्मेदारी ली थी, लेकिन बाद में भारत और पाकिस्तान के बीच तनाव बढ़ने पर उसने अपना बयान वापस ले लिया था।
पहलगाम हमले के जवाब में भारत ने छह-सात मई की रात को ‘ऑपरेशन सिंदूर’ शुरू किया था, जिसमें पाकिस्तान और पाकिस्तान के कब्जे वाले कश्मीर में नौ आतंकवादी बुनियादी ढांचों को निशाना बनाया गया था।
भाषा
देवेंद्र दिलीप
दिलीप