नयी दिल्ली, 21 जुलाई (भाषा) संसद के मानसून सत्र के पहले दिन सोमवार को लोकसभा में विपक्षी दलों के सदस्यों ने पहलगाम आतंकी हमले और बिहार में मतदाता सूची के विशेष गहन पुनरीक्षण (एसआईआर) की कवायद समेत अन्य विषयों पर चर्चा की मांग करते हुए हंगामा किया, जिसके कारण सदन की कार्यवाही आरंभ होने के करीब 20 मिनट बाद दोपहर 12 बजे तक के लिए स्थगित कर दी गई।
सत्र के पहले दिन पारंपरिक रूप से राष्ट्रगान की धुन के साथ कार्यवाही की शुरुआत हुई। फिर लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला ने सात पूर्व सदस्यों किशन कपूर, भगत राम, कुमारी अनंथन, गिरिजा व्यास, मिनाती सेन, सुखदेव सिंह ढींढसा और छोटे सिंह यादव के निधन के बारे में सदन को सूचित किया।
इसके बाद बाद उन्होंने पहलगाम आतंकी हमले और अहमदाबाद विमान हादसे का उल्लेख करते हुए दिवंगत लोगों को श्रद्धांजलि दी।
लोकसभा अध्यक्ष ने हाल में देश के कई हिस्सों में आई प्राकृतिक आपदाओं के कारण हुए जानमाल के नुकसान का भी उल्लेख किया।
इसके बाद सदन ने कुछ देर मौन रखकर दिवंगत लोगों को श्रद्धांजलि दी।
लोकसभा अध्यक्ष बिरला ने भारतीय अंतरिक्षयात्री शुभांशु शुक्ला के सफल अंतरिक्ष मिशन का उल्लेख किया और कहा कि इस सत्र में अंतरिक्ष के विषय पर विस्तृत चर्चा होगी।
इसके बाद, बिरला ने जैसे ही प्रश्नकाल शुरू कराया, विपक्षी सदस्य नारेबाजी करने लगे। उन्होंने पहलगाम आतंकी हमला, ऑपरेशन सिंदूर को रोकने, अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के मध्यस्थता संबंधी दावों और बिहार में एसआईआर जैसे मुद्दों को उठाने की कोशिश की। उन्होंने आसन के निकट पहुंचकर नारेबाजी की।
लोकसभा अध्यक्ष ने कहा कि वह प्रश्नकाल के बाद सभी विषयों पर चर्चा कराने के लिए तैयार हैं।
हंगामे के बीच ही कॉरपोरेट कार्य राज्य मंत्री हर्ष मल्होत्रा और खेल राज्य मंत्री रक्षा खडसे ने कुछ पूरक प्रश्नों के उत्तर दिए।
लोकसभा अध्यक्ष ने विपक्षी सदस्यों से अपने स्थान पर जाने और सदन चलने देने की अपील कई बार की।
नारेबाजी नहीं थमने पर उन्होंने सदन की कार्यवाही पूर्वाह्न करीब 11 बजकर 20 मिनट पर दोपहर 12 बजे तक के लिए स्थगित कर दी।
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