नयी दिल्ली, 29 जुलाई (भाषा) उच्चतम न्यायालय कॉलेजियम ने दिल्ली, बंबई, कलकत्ता और कर्नाटक सहित छह विभिन्न उच्च न्यायालयों में न्यायाधीश पद के लिए कई अधिवक्ताओं और न्यायिक अधिकारियों की नियुक्ति की सिफारिश की है।
भारत के प्रधान न्यायाधीश बी आर गवई की अध्यक्षता में सोमवार को हुई तीन सदस्यीय कॉलेजियम की बैठक में न्यायिक अधिकारी विमल कुमार यादव को दिल्ली उच्च न्यायालय के न्यायाधीश के रूप में नियुक्त करने के प्रस्ताव को मंजूरी दी गई।
कॉलेजियम में न्यायमूर्ति सूर्यकांत और न्यायमूर्ति विक्रम नाथ भी शामिल रहे। कॉलेजियम ने अपनी बैठक में तीन अधिवक्ताओं को बंबई उच्च न्यायालय के न्यायाधीश के रूप में नियुक्त करने के प्रस्ताव को भी मंजूरी दे दी।
सोमवार को हुई बैठक में पारित कॉलेजियम के प्रस्तावों को देर रात उच्चतम न्यायालय की वेबसाइट पर अपलोड कर दिया गया।
कॉलेजियम के सदस्यों ने अधिवक्ताओं अजीत भगवानराव कडेथांकर, आरती अरुण साठे और सुशील मनोहर घोडेश्वर के नामों की भी बंबई उच्च न्यायालय के न्यायाधीश के रूप में सिफारिश की।
इसी प्रकार, कॉलेजियम ने कर्नाटक उच्च न्यायालय के अतिरिक्त न्यायाधीश गुरुसिद्धैया बसवराज को स्थायी न्यायाधीश के रूप में नियुक्त करने के प्रस्ताव को भी मंजूरी दी।
कॉलेजियम ने दो अतिरिक्त न्यायाधीशों – न्यायमूर्ति पार्थसारथी सेन और न्यायमूर्ति अपूर्व सिन्हा रे को कलकत्ता उच्च न्यायालय में स्थायी न्यायाधीश के रूप में नियुक्त करने के प्रस्ताव को भी स्वीकृति दी।
उसने अतिरिक्त न्यायमूर्ति प्रसेनजीत बिस्वास, न्यायमूर्ति उदय कुमार, न्यायमूर्ति अजय कुमार गुप्ता, न्यायमूर्ति सुप्रतिम भट्टाचार्य, न्यायमूर्ति पार्थ सारथी चटर्जी और न्यायमूर्ति मोहम्मद शब्बार रशीदी का कलकत्ता उच्च न्यायालय में एक वर्ष का कार्यकाल बढ़ाने का प्रस्ताव पारित किया।
तीन सदस्यीय कॉलेजियम ने छत्तीसगढ़ उच्च न्यायालय में अतिरिक्त न्यायाधीश रवींद्र कुमार अग्रवाल की स्थायी न्यायाधीश के रूप में नियुक्ति के प्रस्ताव को भी मंजूरी दी।
कॉलेजियम ने आंध्र प्रदेश उच्च न्यायालय के लिए चार अतिरिक्त न्यायाधीशों – न्यायमूर्ति हरिनाथ नुनेपल्ली, न्यायमूर्ति किरणमयी मांडव, न्यायमूर्ति सुमति जगदम और न्यायमूर्ति न्यापति विजय को स्थायी न्यायाधीश के रूप में नियुक्त करने के प्रस्ताव को स्वीकृति दी।
भाषा गोला सिम्मी
सिम्मी