पुणे, एक अगस्त (भाषा) महाराष्ट्र के उपमुख्यमंत्री और राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (राकांपा) अध्यक्ष अजित पवार ने शुक्रवार को पार्टी कार्यकर्ताओं को सार्वजनिक रूप से उपद्रव करने और जश्न में गोलीबारी करने जैसे कदाचार के प्रति आगाह करते हुए कहा कि इस तरह की हरकतें व्यक्ति और पार्टी, दोनों की प्रतिष्ठा धूमिल करती हैं।
पवार की यह टिप्पणी राकांपा सदस्यों से जुड़े दो हालिया विवादों के मद्देनजर आई है, जिसमें पुणे जिले की एक घटना भी शामिल है जहां राकांपा विधायक के भाई ने दौंड में एक ‘‘तमाशा’’ स्थल पर कथित तौर पर बंदूक चलाई थी।
उन्होंने पुणे में एक सभा में पार्टी पदाधिकारियों से कहा, ‘‘ चौफुला मत जाइए और हवा में गोलियां मत चलाइए। इस तरह के कृत्य न केवल व्यक्ति की बल्कि पार्टी की भी छवि खराब करते हैं।’’
चौफुला, दौंड तहसील में पुणे-सोलापुर रोड पर स्थित एक गांव है जो अपने लोक कला केंद्रों में लावणी और तमाशा प्रदर्शन के लिए जाना जाता है।
पवार ने वैष्णवी हगावणे की कथित दहेज हत्या के बारे में भी बात की, जिनके ससुराल वालों पर उत्पीड़न के आरोप हैं। इन लोगों में राकांपा नेता राजेंद्र हगावणे का नाम भी शामिल है।
उन्होंने सवाल किया, ‘‘ क्या पार्टी ने परिवार को अपनी बहू को परेशान करने के लिए कहा था?’’ पवार ने कहा कि अगर उन्हें उनके कृत्यों के बारे में पता होता तो वह शादी में शामिल नहीं होते।
यह विवाह 2023 में बहुत धूमधाम से हुआ था और पवार ने खुद जोड़े को एसयूवी की चाबियां सौंपी थीं।
हगावणे की बहू वैष्णवी (26) ने 16 मई को पिंपरी-चिंचवाड़ के बावधन स्थित अपने ससुराल में कथित तौर पर आत्महत्या कर ली थी।
बहू के परिवार ने आरोप लगाया कि उसे दहेज के लिए परेशान किया गया, जिसमें जमीन खरीदने के लिए दो करोड़ रुपये की मांग भी शामिल थी। हगावणे को पार्टी से निकाल दिया गया है।
पवार ने पार्टी कार्यकर्ताओं को छत्रपति शिवाजी महाराज, राजर्षि शाहू महाराज, महात्मा फुले और डॉ. बाबासाहेब आंबेडकर की विचारधाराओं को कायम रखते हुए सांप्रदायिक सद्भाव बनाए रखने का अनुरोध किया।
भाषा शोभना संतोष
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