बाबा बकाला (अमृतसर), नौ अगस्त (भाषा) शिरोमणि अकाली दल (शिअद) के अध्यक्ष सुखबीर सिंह बादल ने शनिवार को कहा कि अगर उनकी पार्टी की पंजाब में सरकार बनी तो वह आम आदमी पार्टी (आप) सरकार द्वारा भूमि समेकन नीति के तहत अधिग्रहित जमीन किसानों को लौटा देगी।
उन्होंने कहा कि इसे ठीक वैसे ही लागू किया जाएगा जैसे पूर्ववर्ती शिअद सरकार ने 2016 में सतलुज यमुना लिंक (एसवाईएल) नहर के लिए अधिग्रहित जमीन किसानों को लौटाई थी।
शिअद प्रमुख ने यहां रक्षा बंधन के मौके पर आयोजित एक कार्यक्रम को संबोधित करते हुए कहा, ‘‘हम अपनी जान दे सकते हैं लेकिन हम किसानों से एक इंच भी जमीन जबरन नहीं लेने देंगे।’’
उन्होंने कहा, ‘‘इसी कारण से हम एक सितंबर को ‘जमीन बचाओ-पंजाब बचाओ मोर्चा’ शुरू कर रहे हैं, जो मोहाली में हर दिन अनिश्चितकालीन मार्च निकालेगा।’’
बादल ने दावा किया कि पिछली अकाली सरकारों ने महत्वपूर्ण परियोजनाओं के लिए भूमि अधिग्रहण के लिए हमेशा पर्याप्त मुआवजा दिया। उन्होंने कहा कि इसके विपरीत ‘आप’ नेता अरविंद केजरीवाल ‘‘औने-पौने दाम में उपजाऊ कृषि भूमि हड़पना चाहते हैं, और उन्हें 30,000 करोड़ रुपये के गुप्त सौदे के तहत दिल्ली के बिल्डरों को सौंपना चाहते हैं।’’
उन्होंने आरोप लगाया कि 65,000 एकड़ भूमि के अधिग्रहण के कारण किसान पहले से ही समस्याओं का सामना कर रहे हैं, क्योंकि राज्य में सभी रजिस्ट्री और यहां तक कि भूमि उपयोग परिवर्तन की प्रक्रियाएं भी रुकी हुई हैं।
बादल ने दावा किया कि शिअद हमेशा पंजाबियों के अधिकारों की रक्षा के लिए खड़ा है। उन्होंने कहा, ‘‘अगर हम 2027 में सरकार बनाते हैं, तो हम बाहरी लोगों को पंजाब में जमीन खरीदने से प्रतिबंधित कर देंगे।’’
शिअद अध्यक्ष ने कहा, ‘‘हम यह भी सुनिश्चित करेंगे कि सरकारी नौकरियां केवल पंजाबियों को दी जाएं और सभी नयी कंपनियां 80 प्रतिशत तक पंजाबी कर्मचारियों की भर्ती करें।’’
उन्होंने यह भी घोषणा की कि यदि शिअद राज्य की सत्ता में लौटती है तो ‘आटा-दाल’ और ‘शगुन’ योजनाएं दोबारा शुरू करेगी और वृद्धावस्था पेंशन में बढ़ोतरी की जाएगी।
इस मौके पर शिरोमणि गुरुद्वारा प्रबंधक समिति (एसजीपीसी) के अध्यक्ष हरजिंदर सिंह धामी और अकाली नेता गुलजार सिंह रानिके उपस्थित थे।
भाषा धीरज देवेंद्र
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